सार
मुंबई के माहिम इलाके में एक अवैध दरगाह को तोड़े जाने के बाद अब महाराष्ट्र नवनिर्माण सेना (मनसे) ने पनवेल की अवैध दरगाह के खिलाफ भी कार्रवाई की मांग की है।
मुंबई. मुंबई के माहिम इलाके में एक अवैध दरगाह को तोड़े जाने के बाद अब महाराष्ट्र नवनिर्माण सेना (मनसे) ने पनवेल की अवैध दरगाह के खिलाफ भी कार्रवाई की मांग की है। बता दें कि 23 मार्च को मनसे की चेतावनी के बाद प्रशासन से माहिम के समुद्र में बनाई जा रही अवैध मजार को जमींदोज कर दिया था। इस पर मनसे ने एक tweet करके लिखा था-महाराष्ट्रात अनधिकृत मजारींची मुजोरी चालणार नाही(महाराष्ट्र अनधिकृत मजार की अनुमति नहीं देगा)।
पढ़िए मनसे ने क्या चेतावनी दी है?
मनसे द्वारा यह दावा करते हुए कि पनवेल में पहाड़ी पर अतिक्रमण 15 साल पहले शुरू हुआ था। MNS ने कहा कि दरगाह राष्ट्रीय सुरक्षा के लिए खतरा है, क्योंकि अवैध ढांचा आगामी नवी मुंबई अंतरराष्ट्रीय हवाई अड्डे के निकट है। पार्टी ने एक बैनर भी लगाया है, जिसमें राज्य सरकार से दरगाह को गिराने का आग्रह किया गया है।
बता दें कि विशेष रूप से, राज ठाकरे द्वारा शिवाजी पार्क में अपनी रैली के दौरान दरगाह का एक वीडियो जारी करने के एक दिन बाद 23 मार्च को मुंबई के माहिम में एक अवैध दरगाह को हटाने के लिए एक डेमोलाइजेशन ड्राइव चलाई गई थी।
22 मार्च को अपने गुड़ी पड़वा संबोधन के दौरान महाराष्ट्र नवनिर्माण सेना के प्रमुख ने एक क्लिप शेयर करते हुए दावा किया था कि मुंबई के माहिम किनारे से एक 'अवैध दरगाह' मिली है।
राज ठाकरे ने कहा, "यह किसकी दरगाह है? क्या यह मछली की दरगाह है? यह कुछ साल पहले नहीं थी। मनसे ने बाद में ट्विटर पर वीडियो शेयर करते हुए दावा किया कि मध्य में एक 'नया हाजी अली' बनाया जा रहा है। मैं देश के संविधान का पालन करने वाले मुसलमानों से पूछना चाहता हूं कि क्या आप इसकी निंदा करते हैं? यह अवैध मजार माहिम में मखदूम बाबा की दरगाह के करीब थी। हालांकि बाद में इसे तोड़ दिया गया।
मनसे ने कहा था कि अगर अवैध मजार नहीं तोड़ी, तो पास में गणेश मंदिर बना लेंगे
मुंबई में माहिम बीच पर बनी इस अवैध दरगाह को 23 मार्च की सुबह BMC ने हटा दिया था। पुलिस की भारी मौजूदगी के बीच बुलडोजर से दरगाह जमींदोज क गई। BMC मलबे को भी ट्रकों में भरकर ले गई थी। महाराष्ट्र सरकार में मंत्री दीपक केसरकर ने कहा था कि कोस्टल रेगुलेशन जोन (CRZ) को ध्यान में रखकर यह अवैध दरगाह हटाई गई। इससे पहले राज ठाकरे ने चेतावनी दी थी कि अगर एक महीने के भीतर इसे नहीं तोड़ा गया तो उसके पास बड़ा गणपति का मंदिर बना दिया जाएगा।