सार
महाराष्ट्र के पुणे में तीर्थयात्रियों पर पुलिस द्वारा कथित रूप से लाठीचार्ज (Police Lathicharge on Warkari) किए जाने के बाद राजनीतिक बवंडर खड़ा हो गया है। हालांकि पुलिस ने लाठीचार्ज के दावों को खारिज किया है।
मुंबई। महाराष्ट्र के पुणे में रविवार शाम को पुलिस के जवानों और वारकरियों (भगवान विष्णु के अवतार भगवान विठ्ठल के भक्तों) (Warkari Pilgrims) के बीच भिड़त हो गई। इस घटना का वीडियो सामने आया है। इसमें वारकरियों को इधर-उधर भागते और पुलिसकर्मियों से उलझते देखा जा सकता है। घटना एक शोभायात्रा के दौरान हुई।
इस घटना को लेकर महाराष्ट्र में राजनीति तेज हो गई है। विपक्ष ने आरोप लगाया है कि वारकरियों पर पुलिस ने लाठीचार्ज किया। उद्धव ठाकरे ने कहा है कि महाराष्ट्र में मुगलों ने पुनर्जन्म लिया है। वहीं, उपमुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस ने कहा है कि पुलिस लाठीचार्ज की घटना नहीं हुई है।
संत ज्ञानेश्वर महाराज समाधि मंदिर में प्रवेश करना चाहते थे तीर्थयात्री
घटना पुणे से 22 किमी दूर स्थित आलंदी शहर में घटी। औपचारिक जुलूस के दौरान तीर्थयात्री संत ज्ञानेश्वर महाराज समाधि मंदिर में प्रवेश करने की कोशिश कर रहे थे। पुलिस ने उन्हें ऐसा करने से रोका, जिससे टकराव की स्थिति बनी। यह जुलूस पंढरपुर की वार्षिक आषाढ़ी एकादशी तीर्थयात्रा का एक हिस्सा था।
महाराष्ट्र पुलिस बोली नहीं चलाई लाठी
तीर्थयात्रियों को रोकने के लिए पुलिस द्वारा बल प्रयोग किया गया। कहा जा रहा है कि पुलिस ने श्रद्धालुओं पर लाठीचार्ज तक कर दिया। इस बीच महाराष्ट्र पुलिस ने कहा है कि उसने लाठी नहीं चलाई। पुलिस के जवानों और श्रद्धालुओं के बीच बहस हुई थी।
पिंपरी चिंचवाड़ के कमिश्नर विनय कुमार चौबे ने कहा कि पुलिस ने किसी भी अप्रिय घटना को रोकने के लिए मंदिर के न्यासियों के साथ विस्तृत व्यवस्था और बैठकें की थीं। पुलिस एक समय में 75 श्रद्धालुओं के जत्थे को भेज रही थी। इसी दौरान कुछ लोगों ने बेरिकेड्स तोड़ दिए और मंदिर में प्रवेश करने की कोशिश की। पुलिस ने उन्हें रोकने की कोशिश की तो विवाद हो गया।
विपक्ष ने कहा- पुलिस ने चलाई लाठी, होनी चाहिए जांच
इस घटना के प्रकाश में आने के बाद राजनीति शुरू हो गई है। विपक्ष ने कहा है कि पुलिस द्वारा वारकरियों पर लाठीचार्ज किया गया। इस घटना की उच्च स्तरीय जांच होनी चाहिए और दोषियों के खिलाफ सख्त कार्रवाई होनी चाहिए।
एनसीपी की कार्यकारी अध्यक्ष और सांसद सुप्रिया सुले ने कहा कि प्रशासन के कुप्रबंधन ने इस वार्षिक उत्सव पर धब्बा लगा दिया। वरकरी समुदाय पर लाठीचार्ज देखकर दुख होता है। जिन लोगों ने ऐसा किया है उनके खिलाफ कार्रवाई होनी चाहिए। मैं इस घटना की निंदा करती हूं। इतने सालों में ऐसा कभी नहीं हुआ।
उद्धव ठाकरे बोले- मुगलों ने लिया पुनर्जन्म
महाराष्ट्र कांग्रेस के अध्यक्ष नाना पटोले ने उच्च स्तरीय जांच और दोषियों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की मांग की। वहीं, शिवसेना (यूबीटी) के नेता उद्धव ठाकरे ने कहा कि हिंदुत्व सरकार के ढोंग का पर्दाफाश हो गया है। मुखौटे गिर गए हैं। क्या इससे औरंगजेब अलग था? मुगलों ने महाराष्ट्र में पुनर्जन्म लिया है।"