जयपुर का हवा महल भीषण गर्मी में भी ठंडा रहता है। इसका राज़ इसकी अनोखी बनावट और 953 खिड़कियाँ हैं, जो प्राचीन वैज्ञानिक सिद्धांतों पर आधारित हैं।

जयपुर. राजस्थान में भीषण गर्मी जारी है। राजस्थान के कई इलाकों में तापमान 44 डिग्री के करीब पहुंच चुका है। लेकिन इस बीच भी यदि किसी को बिना एयर कंडीशन और कूलर के ठंडी हवा चाहिए तो वह हवा महल जाता है। यहां पर कोई कूलर या एयर कंडीशन नहीं लगा हुआ। इसके बावजूद भी यहां सर्दी हो या गर्मी आपको ठंडी हवा आएगी। आज जानिए राजधानी जयपुर में स्थित हवा महल में ठंडी हवा आने का कारण...

हवामहल में कल 953 खिड़कियां

जयपुर में बने हवामहल में कल 953 खिड़कियां है। 226 साल पहले बने इस हवामहल को फिजिक्स के वेंचुरी इफेक्ट और बरनौली प्रिंसिपल के आधार पर तैयार किया गया है। यह खास डिजाइन हवा की दिशा बदल देता है।

हवा महला का ऐसा डिजाइन की नहीं लगती गर्मी

इसे इस तरीके से डिजाइन किया गया है कि यदि तेज गति वाली हवा में प्रेशर कम होता है तो भी हाई प्रेशर की हवा अंदर आती है और महल को ठंडा कर देती है। यहां खिड़कियों में लगी जालियां नेचुरल बब्लाइंडर का काम करती है।

सवाई प्रताप सिंह ने बनवाया था हवा महल

जयपुर के हवामहल की स्थापना साल 1799 में जयपुर के शासक महाराजा सवाई प्रताप सिंह ने करवाई थी। पांच मंजिला हवामहल बिना ठोस नींव के 87 डिग्री पर झुका हुआ है।

हवा महल की चित्रकारी और नक्काशी देखते ही बनती

हवामहल जयपुर के टॉप टूरिस्ट प्लेस में से एक है। जहां रोजाना हजारों पर्यटक घूमने के लिए आते हैं। इसे और भी खास बनाती है इसके अंदर हुई चित्रकारी और नक्काशी।

जयपुर का टॉप टूरिस्ट डेस्टिनेशन 

  • पुराने समय में यह राजपूतों का विश्राम स्थल हुआ करता था। लेकिन अब यह पूरी तरह से टूरिस्ट डेस्टिनेशन बन चुका है। यहां कई बॉलीवुड फिल्म की शूटिंग भी हो चुकी है।
  • प्री वेडिंग शूट के लिए भी हवामहल जयपुर की टॉप डेस्टिनेशन माना जाता है। हर साल यहां हजारों विदेशी पर्यटक भी घूमने के लिए आते हैं।