सार

माफिया अतीक अहमद को लेकर टीम वापस साबरमती जेल के लिए रवाना हो गई। उमेश पाल अपहरण मामले में सजा के ऐलान के बाद माफिया को नैनी जेल में एंट्री ही नहीं मिली। जेलर ने आदेश का हवाला देते हुए उसे एंट्री नहीं दी।

प्रयागराज: नैनी जेल से अतीक अहमद को लेकर निकली पुलिस का काफिला देर रात चित्रकूट में कुछ देल के लिए रुका। 24 घंटे के लंबे सफर की शुरुआत से पहले काफिले ने यहां तकरीबन 10 मिनट रुककर रिजर्व पुलिस लाइन से फूड पैकेट लिए। इसके बाद टीम फिर से साबरमती जेल के लिए रवाना हो गई।

वापस जाने से पहले बढ़ा अतीक का बीपी, नैनी जेल में नहीं मिली एंट्री

प्रयागराज से अतीक अहमद को लेकर जब पुलिस की टीम साबरमती जेल के लिए रवाना हुई तो उसका ब्लड प्रेशर बढ़ गया। पुलिस के द्वारा उसे दवा दी गई और आराम मिलने पर उसे चित्रकूट की ओर ले जाया गया। कोर्ट से सजा का ऐलान होने के बाद अतीक को मंगलवार को दोपहर साढ़े तीन बजे नैनी जेल वापस लाया गया। हालांकि उसे जेल के अंदर नहीं लिया गया। तकरीबन 5 घंटे तक प्रिजन वैन जेल गेट के बाहर ही खड़ी रही। वरिष्ठ जेल अधीक्षक शशिकांत सिंह के द्वारा कहा गया कि अतीक को नैनी जेल में लेने का कोई भी आदेश उन्हें नहीं मिला है इसी के चलते उन्होंने वापस उसे जेल में लेने से मना कर दिया। वहीं इसी बीच अशरफ को लेकर भी टीम बरेली के लिए रवाना हो गई। अशरफ ने बातचीत में बताया कि उसे एक अधिकारी के द्वारा धमकी दी गई है कि दो हफ्ते बाद उसे किसी बहाने से जेल से बाहर निकालकर निपटा दिया जाएगा। अशरफ का कहना था कि उस पर फर्जी आरोप लगाकर उसे बदनाम करने की साजिश की जा रही है।

अतीक और उसके दो साथियों को मिली उम्रकैद की सजा

माफिया अतीक अहमद और उसके दो साथियों को 17 साल पुराने केस में उम्रकैद की सजा सुनाई गई है। अतीक अहमद समेत तीनों पर एक-एक लाख रुपए का जुर्माना भी लगाया गया है। जुर्माने की रकम को उमेश के परिवार को दिया जाएगा। वहीं उमेश पाल अपहरण केस में अशरफ, फरहान, जावेद उर्फ बज्जू, एजाज अख्तर, इसरार, आबिद और आशिक उर्फ मल्ली को बरी कर दिया गया है।

प्रयागराज: उमेश पाल अपहरण केस में सजा सुनाए जाने से पहले अतीक ने कोर्ट में दी दलील, अपने बचाव में रखे कई तर्क