सार

आगरा के लाल शहीद कैप्टन शुभम गुप्ता बुधवार को रजौरी में आतंकवादियों के साथ हुए एनकाउंटर में  शहीद हो गए। घरवाले शादी की तैयारियों में लगे थे…लेकिन इससे पहले ही बेटे की शहादत की खबर आ गई।

 

आगरा (उत्तर प्रदेश). आगरा की माटी का वीर सपूत कैप्टन शुभम गुप्ता बुधवार को जम्मू कश्मीर के राजौरी में आतंकियों के साथ मुठभेड़ में शहीद हो गए। आज बुधवार को जब जवान का पार्थिव शरीर उनके निवास पर पहुंचेगा। लेकिन परिवार को जब इसकी सूचना मिली तो कोहराम मच गया। पूरे आगरा में शोक की लहर दौड़ गई। वहीं परिवार वालों के तो हाल बेहाल हैं। जब से बेटे की शहादत की खबर सुनी है तब से ही माता-पिता की आंखों से आंसू थमने का नाम नहीं ले रहे हैं।

'जिस कंधे पर डांस कराया अब उन्हीं पर उठानी पड़ेगी अर्थी'

सबसे बुरा हाल शुभम के बड़े भाई का है, उन्होंने रोते हुए कहा- कुछ दिन पहले ही उसका जन्मदिन था, जिसे पूरे परिवार ने मिलकर होटल में बड़ी ही धूमधाम से मनाया था। मैंने उसे कंधे पर बैठाकर डांस कराया था, खूब मस्ती की थी। हम सभी ने उसकी लंबी उम्र की दुआ की थी। लेकिन ऊपर वाले को क्या यही मंजूर था कि अब उसी कंधे पर उसकी अर्थी रखनी पड़ेगी, यह कभी सोचा नहीं था।

पिता बोले- दो दिन पहले उसने बोला था...जल्द घऱ आएगा

वहीं शुभम गुप्ता के पिता बसंत गुप्ता को जब पता चला कि उनका लाल अब नहीं रहा तो वह यह खबर सुनते ही पहले तो रोए, फिर बेसुध हो गए। हाथ में जो मोबाइल से वह जमीन पर गिर गया। पिता ने मीडिया से बात करते हुए कहा कि दो दिन पहले ही शुभम से फोन पर बातचीत हुई थी। उसने वादा किया था कि वह जल्द घर आएगा। बस एक यहां काम निपटा लूं फिर लंबी छुट्टी पर आऊंगा। वहीं पिता ने यह भी कहा कि बेटा की कमी तो कोई पूरा नहीं कर सकता है। लेकिन मुझे अपने बेटे पर गर्व है कि उसने देश के लिए सर्वोच्च बलिदान दिया है।

घरवाले कर रहे थे शादी की तैयारी....

वहीं पता चला है कि परिवार वाले शुभम की शादी करने की तैयारियां कर रहे थे। उसके लिए लड़की देखी जा रही थी। वह जल्द छुट्टी भी इसलिए आ रहा था ताकि लड़की को पसंद कर ले। वह 25 नवंबर को घर आने वाला था। लेकिन किसे पता था कि वह अब कभी नहीं आएगा। घरवाले उसकी आने की राह देखते रहे, लेकिन उसकी शहादत की खबर आ गई।