सार

प्रयागराज महाकुंभ 2025 की भगदड़ की जाँच के लिए गठित न्यायिक आयोग ने काम शुरू कर दिया है। रिटायर्ड जस्टिस हर्ष कुमार की अध्यक्षता वाली टीम मौके पर साक्ष्य जुटा रही है। एक महीने में रिपोर्ट आने की उम्मीद है।

प्रयागराज: महाकुंभ 2025 में हुई भगदड़ की जांच अब अपने अगले चरण में पहुंच गई है। इस हादसे के बाद उत्तर प्रदेश सरकार ने एक तीन सदस्यीय न्यायिक आयोग का गठन किया है, जिसकी अगुवाई सेवानिवृत्त न्यायाधीश हर्ष कुमार कर रहे हैं। इस जांच आयोग की टीम आज, 31 जनवरी, को प्रयागराज पहुंच चुकी है और मौके से साक्ष्य जुटाने की प्रक्रिया शुरू कर दी गई है।

योगी सरकार ने आयोग को एक महीने के भीतर विस्तृत रिपोर्ट सौंपने का निर्देश दिया है। आयोग की यह रिपोर्ट तय करेगी कि भगदड़ की असली वजह क्या थी, और भविष्य में ऐसी घटनाओं को रोकने के लिए क्या कदम उठाए जाने चाहिए। आइए जानते हैं इस जांच समिति के तीन अहम सदस्यों के बारे में।

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1. कौन हैं रिटायर्ड जस्टिस हर्ष कुमार?

  • न्यायमूर्ति हर्ष कुमार प्रयागराज हाईकोर्ट के सेवानिवृत्त न्यायाधीश हैं। उन्होंने 1979 में विधि में स्नातक किया और 1998 में उच्च न्यायिक सेवा में शामिल हुए। इसके बाद:
  • 2008 में जिला एवं सत्र न्यायाधीश बने।
  • 2014 में प्रयागराज हाईकोर्ट में अतिरिक्त न्यायाधीश के रूप में पदभार संभाला।
  • 2016 में स्थायी न्यायाधीश के रूप में शपथ ली।
  • 29 मार्च 2020 को हाईकोर्ट से सेवानिवृत्त हुए।

2. कौन हैं रिटायर्ड आईपीएस वीके गुप्ता?

  • 1982 बैच के सेवानिवृत्त आईपीएस अधिकारी वी.के. गुप्ता, डीजी होमगार्ड के पद से रिटायर हुए हैं। वे कई हाई-प्रोफाइल मामलों की जांच का हिस्सा रहे हैं। इनमें प्रयागराज का उमेश पाल हत्याकांड भी शामिल है।
  • शूटरों को मुठभेड़ में मार गिराने वाली पुलिस टीम की जांच में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई थी।
  • पूर्व न्यायाधीश राजीव लोचन मल्होत्रा की अध्यक्षता वाले आयोग के सदस्य भी रह चुके हैं।
  • उत्तर प्रदेश पुलिस और सुरक्षा व्यवस्था के क्षेत्र में लंबा अनुभव।

3. कौन हैं रिटायर्ड आईएएस डीके सिंह?

  • 2005 बैच के सेवानिवृत्त आईएएस अधिकारी डी.के. सिंह उत्तर प्रदेश प्रशासन में कई महत्वपूर्ण पदों पर रह चुके हैं।
  • चित्रकूटधाम मंडल के मंडलायुक्त रह चुके हैं।
  • जौनपुर, बदायूं, मुजफ्फरनगर और सोनभद्र में जिलाधिकारी के रूप में कार्यरत रहे।
  • पीसीएस से आईएएस बनने वाले अधिकारी, जिनके पास प्रशासनिक सेवाओं का लंबा अनुभव है।

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