Sonbhadra Stone Mine Accident: सोनभद्र में एक पत्थर खदान धंसने से बड़ा हादसा हो गया। पहाड़ी का हिस्सा टूटकर गिरने से कई मजदूरों के मलबे में दबे होने की आशंका है। प्रशासन और पुलिस टीम मौके पर पहुंचकर रेस्क्यू ऑपरेशन चला रही है।

Sonbhadra Landslide: उत्तर प्रदेश के सोनभद्र ज़िले में शनिवार को पत्थर खदान इलाके में बड़ा हादसा हो गया। एक पहाड़ी हिस्सा अचानक धंसने से भारी मात्रा में मलबा खदान के अंदर गिर गया। शुरुआती जानकारी के मुताबिक, कई मजदूरों के मलबे में दबे होने की आशंका है। हादसा ओबरा थाना क्षेत्र के बिल्ली इलाके में हुआ, जहां खनन का काम लगातार चलता रहता है। मौके पर मौजूद लोगों ने बताया कि करीब 12 मजदूर वहां काम कर रहे थे। फिलहाल राहत-बचाव दल मौके पर पहुंच चुका है और रेस्क्यू तेजी से जारी है।

सोनभद्र में क्या हुआ?

शनिवार दोपहर खदान में काम चल रहा था, तभी अचानक पहाड़ी का एक बड़ा हिस्सा टूटकर नीचे खदान क्षेत्र में आ गिरा। मलबा इतना तेजी से गिरा कि वहां काम कर रहे कई मजदूरों को संभलने का मौका भी नहीं मिला। शुरुआती रिपोर्ट्स के मुताबिक, एक कंप्रेसर ऑपरेटर समेत कई मजदूर पत्थरों और भारी मलबे के नीचे दबे होने की आशंका है। मौके पर एसडीएम, स्थानीय पुलिस और प्रशासनिक टीमें तुरंत पहुंचीं और राहत कार्य शुरू किया, लेकिन मलबा बहुत भारी होने की वजह से रेस्क्यू में समय लग रहा है।

लापरवाही की जांच जरूरी

इस हादसे पर यूपी के राज्य मंत्री संजीव सिंह गौर ने दुख जताया। उन्होंने कहा कि यह एक बेहद पीड़ादायक हादसा है और किसी की लापरवाही इसकी वजह बन सकती है। उन्होंने कहा, 'आज बिरसा मुंडा जयंती पर इतनी बड़ी लापरवाही होना बेहद दुखद है। खनन बंद था, फिर भी काम कैसे चल रहा था? इसकी जांच होगी और दोषी को कड़ी सजा मिलेगी।' उन्होंने बताया कि प्रशासन और क्रशर एसोसिएशन दोनों ने पहले से सूचना दी थी कि 15 नवंबर को खनन बंद रहेगा, लेकिन फिर भी काम जारी था, यह गंभीर सवाल खड़ा करता है।

कई बार हो चुके हैं ऐसे हादसे

मंत्री संजीव सिंह गौर ने यह भी कहा कि सोनभद्र में इससे पहले भी ऐसे खनन हादसे हो चुके हैं। इससे बड़ा सवाल उठता है कि क्या सुरक्षा नियमों का पालन सही तरीके से हो रहा है? मंत्री ने कहा कि 'जिसे भी दोषी पाया जाएगा, उसे बख्शा नहीं जाएगा, फिर चाहे वह अधिकारी हो या खदान मालिक।'

रेस्क्यू ऑपरेशन जारी

जानकारी के मुताबिक हादसा करीब 3 बजे हुआ, लेकिन रेस्क्यू सही तरह से शुरू होने में देरी हुई। मंत्री को घटना की जानकारी करीब 5 बजे मिली। फिलहाल प्रशासन भारी मशीनरी की मदद से मलबा हटाने में जुटा है और फंसे मजदूरों की तलाश जारी है। आगे की जानकारी जल्द सामने आ सकती है।

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