सार
Narak Chaturdashi 2022 Upay: दीपावली से एक दिन पहले नरक चतुर्दशी का पर्व मनाया जाता है। इसे रूप चतुर्दशी, यम चौदस, काली चौदस और छोटी दीपावली भी कहते हैं। इस दिन सुबह अभ्यंग स्नान किया जाता है और शाम को यम के निमित्त दीपदान किया जाता है।
उज्जैन. धर्म ग्रंथों के अनुसार, कार्तिक मास के कृष्ण पक्ष की चतुर्दशी तिथि को रूप चतुर्दशी (Roop Chaturdashi 2022) का पर्व मनाया जाता है। इस बार ये तिथि 23 अक्टूबर, रविवार को है। इसे और भी कई नामों से जाना जाता है जैसे- नरक चौदस, छोटी दीपावली और काली चौदस आदि। इस तिथि का भी दीपावली जैसा ही महत्व धर्म ग्रंथों में बताया गया है। मान्यता है कि देवी लक्ष्मी की बहन अलक्ष्मी धरती पर आती हैं और जिस घर में साफ सफाई की कमी होती है, उसी घर में बस जाती हैं। इस दिन अगर कुछ खास उपाय किए जाएं तो कई परेशानियों से बचा जा सकता है। आगे जानिए रूप चतुर्दशी के उपायों के बारे में…
सुबह स्नान करने से मिलेगी पापों से मुक्ति
रूप चतुर्दशी की सुबह अभ्यंग स्नान करने की परंपरा है। इसमें पहले तिल के तेल से शरीर की मालिश करें और इसके बाद हल्दी, चंदन, बेसन का उबटन लगाकर स्नान करें। इस प्रकार स्नान करने के बाद भगवान श्रीकृष्ण के दर्शन करें। इससे कई तरह की परेशानियां अपने आप ही दूर हो जाती हैं।
इन चीजों को रखें तिजोरी में
रूप चौदस पर धन लाभ के लिए भी उपाय किए जा सकते हैं। इस दिन लाल चंदन, गुलाब के फूल और कुंकुम की पूजा करें और बाद में इसे लाल कपड़े में लपेटकर अपनी तिजोरी में रख दें। इन उपाय से आपके घर में बरकत बनी रहेगी और धन की कमी नहीं होगी।
यमराज को ऐसे करें प्रसन्न
नरक चतुर्दशी की शाम को अपने घर के मुख्य दरवाजे के दोनों ओर चौमुखी दीपक लगाएं। इसमें थोड़ी सी काली गूंजा भी डाल दें। गूंजा का उपयोग तंत्र उपायों में किया जाता है। इससे धन लाभ भी होता है। इस प्रकार दीपक लगाने से आपकी परेशानियां कम हो सकती हैं।
भगवान श्रीकृष्ण की पूजा करें
रूप चतुर्दशी पर ही भगवान श्रीकृष्ण ने नरकासुर का वध किया था। दक्षिण भारत में इस तिथि का महत्व दीपावली से अधिक माना जाता है। इस दिन भगवान श्रीकृष्ण की पूजा करें। खीर का भोग लगाएं और पीले वस्त्र अर्पित करें। इससे भी आपको शुभ फल मिल सकते हैं।
देवी लक्ष्मी को चढ़ाएं लाल वस्त्र
रूप चतुर्दशी की रात देवी लक्ष्मी की पूजा करें और लाल चुनरी अर्पित करें। इसके बाद अपने घर में निवास करने के लिए प्राथर्ना करें। संभव हो तो लक्ष्मी मंत्रों का जाप भी करें। इससे पैसों से जुड़ी समस्या दूर हो सकती है।
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