सार
40 दिन की सुनवाई के बाद सुप्रीम कोर्ट ने बुधवार को अपना फैसला सुरक्षित रख लिया है। माना जा रहा है कि 16 नवंबर से पहले फैसला आ सकता है। क्योंकि चीफ जस्टिस रंजन गोगोई 17 नवंबर को रिटायर हो रहे हैं। इस बीच देर शाम अयोध्या में भारी पुलिस बल अचानक तैनात किया गया।
अयोध्या (Uttar Pradesh). 40 दिन की सुनवाई के बाद सुप्रीम कोर्ट ने बुधवार को अपना फैसला सुरक्षित रख लिया है। माना जा रहा है कि 16 नवंबर से पहले फैसला आ सकता है। क्योंकि चीफ जस्टिस रंजन गोगोई 17 नवंबर को रिटायर हो रहे हैं। इस बीच देर शाम अयोध्या में भारी पुलिस बल अचानक तैनात किया गया। राम जन्मभूमि क्षेत्र के सीओ अमर सिंह की अगुवाई में सैकड़ों पुलिसकर्मियों ने फ्लैग मार्च किया। hindi.asianetnews.com से बातचीत में सीओ अमर सिंह ने अचानक बढ़ाई गई इस सिक्युरिटी के बारे में बताया।
कुछ क्षेत्र में लागू है धारा 144
सीओ ने बताया, पूरे अयोध्या नहीं बल्कि कुछ क्षेत्रों में धारा 144 लागू है। सुप्रीम कोर्ट में सुनवाई खत्म होने के बाद ऐतिहात के तौर पर राम जन्मभूमि के पास सुरक्षा बढ़ाई गई है। आसपास मौजूद दुकान पर जाकर उन्हें बताया गया कि वो किसी भी अफवाह पर ध्यान न दें और कोई भी संदिग्ध सामान दिखने पर तत्काल पुलिस को सूचना दें।
किसी के भी साथ नहीं होगा अभद्र व्यवहार
उन्होंने बताया, क्षेत्रावासियों को लाउडस्पीकर के माध्यम से मैसेज दिया गया है कि कोई भी अपने घर में डंडा, असलहा या ईंट पत्थर न इक्ट्ठा करे। जिसके पास शस्त्र का लाइसेंस है वो भी अपने हथियार का प्रदर्शन नहीं करेगा। पुलिसकर्मियों को सख्त निर्देश दिए गए हैं कि चेकिंग के दौरान किसी के भी साथ अभ्रद व्यवहार नहीं होना चाहिए। हालांकि, क्षेत्र में आने वाले सभी वाहनों की चेकिंग की जाएगी। किसी के आने जाने पर रोक नहीं लगाई गई है।
दीवारों पर पेंट किए गए पुलिस अफसरों के नंबर
बता दें, राम जन्मभूमि क्षेत्र में जगह जगह दीवारों पर पुलिस अफसरों के नंबर पेंट कराए गए हैं। पीएसी की 47 कंपनियां तैनात की गई हैं। विवादित स्थल की सुरक्षा में तैनात सुरक्षाबल आधुनिक हथियारों, वॉच टॉवर, ड्रोन कैमरों और सीसीटीवी से लैस हैं। अयोध्या में दाखिल होने के सभी रास्तों, घाटों और सरयू नदी के तट की निगरानी के लिए सैकड़ों सीसीटीवी कैमरे लगे हैं। अयोध्या में दाखिल होने वाले सभी प्रवेश द्वारों पर बैरिकेडिंग की गई है।