सार
उत्तर प्रदेश में बढ़ रहे कोरोना संक्रमितों के मामलों को देखते हुए अखिलेश यादव ने अपना आगामी दिनों में गोंडा समेत कई जिलों में होने वाला दौरा रद्द कर दिया है। इस बीच कई जिलों में से होकर निकलने वाली समाजवादी विजय रथ यात्रा को भी स्थगित कर दिया गया है।
लखनऊ: उत्तर प्रदेश (uttar pradesh) में कोरोना के बढ़ते मामलों के बीच लगातार राजनीतिक पार्टियों के ओर से की जा रहीं रैलियों पर बुधवार से विराम लगना शुरू हो गया। बुधवार सुबह कांग्रेस (Congress) की ओर से उत्तर प्रदेश में आगामी दिनों में होने वाली मैराथन दौड़ व अन्य चुनावी कार्यक्रमों को रद्द किया गया, जिसके बाद प्रधानमंत्री मोदी (PM Modi) व अन्य कई बड़े नेताओं ने अपने आगामी कार्यक्रमों को रद्द करने का फैसला लिया। वहीं, देर शाम समाजवादी पार्टी (samajwadi party) के राष्ट्रीय अध्यक्ष अखिलेश यादव ने भी यूपी के कई जिलों में होने वाले अपने सारे कार्यक्रमों को रद्द कर दिया है।
सपा के विजय रथ पर कोरोना ने लगाई रोक
आपको बता दें की समाजवादी पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष अखिलेश यादव की ओर से प्रदेश भर में चुनावी तैयारियों के बीच विजय रथ यात्रा निकाली जा रही थी। इस दौरान अलग-अलग जिलों में होने वाली जनसभा में अखिलेश यादव भारी भीड़ को संबोधित करते हुए दिखाई देते थे। लेकिन लगातार उत्तर प्रदेश में बढ़ रहे कोरोना संक्रमितों के मामलों को देखते हुए अखिलेश यादव ने अपना आगामी दिनों में गोंडा समेत कई जिलों में होने वाला दौरा रद्द कर दिया है। इस बीच कई जिलों में से होकर निकलने वाली समाजवादी विजय रथ यात्रा को भी स्थगित कर दिया गया है।
कांग्रेस के बाद PM मोदी ने भी रद्द की अपनी चुनावी रैली
उत्तर प्रदेश में कोरोना के हालात बिगड़ने के बाद बुधवार को एक तरफ कांग्रेस ने अपनी चुनावी रैलियों को रद्द करने का फैसला लिया। जिसके तुरंत बाद प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की उत्तर प्रदेश में होने वाली चुनावी कार्यक्रमों के स्थगित होने का फरमान सामने आ गया। इतना ही नहीं, बीजेपी के नितिन गडकरी, योगी आदित्यनाथ, पीएम मोदी जैसे दिग्गज नेताओं की ओर से आगामी दिनों में अलग-अलग जिलों में होने वाले परियोजनाओं के लोकार्पण से जुड़े कार्यक्रमों को भी वर्चुअली करने का निर्णय लिया गया।
यूपी में दिसम्बर माह में बिगड़े कोरोना से हालात
आपको बता देंगे उत्तर प्रदेश में साल 2021 के आखिरी महीने यानी दिसंबर के पहले दिन से ही रोना के हालात बिगड़ना शुरू हो गए थे। जारी आंकड़ों के मुताबिक, उत्तर प्रदेश में 1 दिसंबर को कोरोना के नए मरीजों की संख्या 7 दर्ज की गई थी। वहीं, एक्टिव केस की संख्या सौ से कम होने के साथ 92 दर्ज की गई थी। वहीं, 1 दिसंबर माह के आखिरी दिन यानी 31 दिसम्बर तारीख में उत्तर प्रदेश में कोरोना के नए मरीजों की संख्या 1 दिन में 251 में दर्ज होने के साथ एक्टिव केस का आंकड़ा 862 पर पहुंच गया था। लिहाजा इन आंकड़ों से साफ जाहिर होता है कि यूपी में दिसंबर माह में ही कोरोना संक्रमण के हालात लगातार बिगड़ना शुरू हो गए थे, इन बिगड़ते हालातों के बीच राजनीतिक दलों की ओर से आयोजित की जाने वाली चुनावी रैलियां एक बड़ी लापरवाही की ओर इशारा करती हैं।