सार

नगर निगम की गाड़ी में तेल भरवाने के लिए आरएफआईडी डिवाइस को ही चोरी का जरिया बना लिया। यह डिवाइस गाड़ी में तेल भरवाने के लिए इस्तेमाल किया जाता है। जिससे पेट्रोल पंपों पर नगर निगम की गाड़ियों में तेल डाला जाता है और इसका भुगतान नगर निगम की ओर से पेट्रोल पंपों को किया जाता है।

रजत भट्ट
गोरखपुर: यूपी के गोरखपुर (Gorakhpur) के नगर निगम (nagar Nigam) में एक ऐसी चोरी का मामला सामने आया, जिसमें नगर निगम के कर्मचारी नगर निगम को चूना लगा रहे थे। दरअसल, मामला उन कर्मचारियों का है, जो कर्मचारी नगर निगम की गाड़ी को चलाते हैं। नगर निगम की गाड़ी में तेल भरवाने के लिए आरएफआईडी डिवाइस को ही चोरी का जरिया बना लिया। यह डिवाइस गाड़ी में तेल भरवाने के लिए इस्तेमाल किया जाता है। जिससे पेट्रोल पंपों पर नगर निगम की गाड़ियों में तेल डाला जाता है और इसका भुगतान नगर निगम की ओर से पेट्रोल पंपों को किया जाता है।

आरएफआईडी चिप के जरिए गाड़ियों में नहीं, गैलेनों में भरकर करते थे तेल की चोरी
आपको बता दें तेल चोरी रोकने के लिए नगर निगम के वाहनों में फ्रिकवेंसी आईडेंटिफिकेशन डिवाइस (आरएफआईडी) लगाई गई। जो कि अब कुछ चालकों ने तेल चोरी का जरिया इसे ही बना लिया। चालक नगर निगम की गाड़ी पेट्रोल पंप पर लेकर जाते हैं, फिर आरएफआईडी चिप हाथ में लेकर तेल गाड़ी में नहीं गैलन में भरा लेते हैं। वहीं, पेट्रोल पंप पर काम करने वाले कर्मचारियों ने बताया कि अक्सर यह लोग (आरिफआईडी) चीफ हाथ में लेकर ही तेल भरवाते हैं।

नगर आयुक्त के निरीक्षण में नहीं मिले दो वाहनों में आरएफआईडी चिप
इसके साथ ही आपको बता दें कि पिछले कई दिनों से वाहनों में तेल की चोरी और आरएफआईडी डिवाइस में गड़बड़ी की सूचना नगर आयुक्त को मिल रही थी। मद्देनजर नगर आयुक्त ने शुक्रवार को औचक निरीक्षण किया। जिसके बाद दो वाहनों में आरएफआईडी डिवाइस नहीं मिली। बल्कि ये चिप चालकों के हाथ में मिली। फिर नगर आयुक्त ने सबसे पहले इंडियन ऑयल के पेट्रोल पर गए। जहां एक वाहन में (आरएफआईडी) के तार से टंकी के ऊपर बाधी गई थी। वहीं, नगर आयुक्त ने नगर निगम से जुड़े सभी पंप मालिकों को निर्देश दिए हैं कि किसी भी हाल में वाहन के अलावा तेल नहीं दिए जाएं। अगर ऐसा हुआ तो ऐसा करने वाले पंप मालिकों के भुगतान रोका जाएगा। वहीं, नगर आयुक्त ने चालकों को स्पष्ट चेतावनी दी है कि यदि दूसरे से वाहन चलवाया तो तत्काल सेवा से मुक्त कर दिए जाएंगे। यदि चालकों को अवकाश पर जाना है तो अपने उच्च अधिकारी को जानकारी देकर जाएं।
 

पत्नी की मौत के बाद दूसरी शादी करने मैरिज ब्यूरो पहुंचे शिक्षक, युवती ने प्रेम जाल में फसाकर ठगे 62 हजार रुपए