सार

यूपी के जिले लखनऊ में युवती अपने प्यार के लिए धर्म परिवर्तन करती है। पुष्पेंद्र के प्यार में इशरत सोनी बन गई, जिसके लिए धर्म और अपना घर छोड़ा उसने सिर्फ शक की वजह से पत्नी की हत्या कर दी। पुलिस ने आरोपियों को गिरफ्तार कर जेल भेज दिया है। 

लखनऊ: उत्तर प्रदेश की राजधानी लखनऊ के मड़ियांव की रहने वाली मुस्लिम युवती ने प्यार में धर्म बदला और जीवन भर साथ निभाने के वादे पर हिंदू बन गई लेकिन उसे इस बात का अंदाजा बिल्कुल भी नहीं था जिससे वह शादी करने जा रही है वहीं एक दिन उसकी जान का दुश्मन बनेगा। दरअसल शहर के मड़ियांव की इशरत परवीन (30) मोहब्बत के लिए सोनी तिवारी बन गई लेकिन जिस पुष्पेंद्र तिवारी को अपना सबकुछ मानकर उसने अपने वजूद से समझौता किया है वो ही उसका कातिल निकलेगा इस बात का अंदाजा भी नहीं था। इशरत उर्फ सोनी की मौत में उसके पति पुष्पेंद्र ने अपने छोटे भाई गोविंद तिवारी और दोस्त सूरज वर्मा की मदद ली। हैरान करने वाली बात तो यह है कि दृश्यम फिल्म देखकर शातिर पुष्पेंद्र ने खुद को बचाने का हर तरीका निकाला पर लगातार बदल रहे बयान की वजह से पुलिस का शक गहरा हो गया।

जिम में हुई थी इशरत और पुष्पेंद्र की मुलाकात
प्रभारी निरीक्षक सुशांत गोल्फ सिटी शैलेंद्र गिरी के अनुसार मूलरूप से गोंडा के छपिया स्थित मसकनवा का रहने वाला पुष्पेंद्र तिवारी उर्फ शुभम 2019 में मड़ियांव के एक जिम में ट्रेनर था, जहां मड़ियांव की इशरत परवीन भी आती थी। उन्होंने बताया कि प्रशिक्षण के दौरान दोनों में मोहब्बत हो गई और कुछ दिन साथ रहने के बाद पुष्पेंद्र मॉडल बनने मुंबई चला गया। अपनी मोहब्बत के पीछे इशरत भी पहुंच गई। यहां उसने धर्म व नाम बदलकर सोनी तिवारी बनी और आर्य समाज मंदिर में शादी की। जब छह महीने बाद कोरोना संकट आया तो दोनों वापस लखनऊ आ गए। जिम बंद होने की वजह से पुष्पेंद्र बेरोजगार हो गया। इसी दौरान उसने मड़ियांव में किराए का मकान छोड़कर गुडंबा के आदिलनगर में किराए पर रहने लगा। यहां पर उसके साथ इशरत उर्फ सोनी तिवारी भी रहती थी। काफी दिन रोजगार की तलाश में भटकने के बाद पुष्पेंद्र ने करीबियों के सहयोग से मसकनवा गांव के बाजार में जिम खोल लिया। बीच-बीच में वह लखनऊ आता था लेकिन इसी बात को लेकर सोनी से तकरार होने लगी।

पुष्पेंद्र ने भाई को तैयार करने के लिए दिखाई दृश्यम फिल्म
सोनी से तकरार होने पर परिजन ने अलग होने की सला दी लेकिन पुष्पेंद्र ने मना कर दिया पर उसको शक हुआ कि सोनी का किसी दूसरे युवक से संबंध हो गया है। इस वजह से उसने हत्या की साजिश रची जिसमें भाई गोविंद को शामिल किया। पहले तो भाई ने मना किया लेकिन दृश्यम फिल्म दिखाई तो तैयार हो गया। पुलिस ने इसकी पुष्टि पुष्पेंद्र और गोविंद के व्हाट्सएप चैटिंग से की है। इस मामले में पुलिस ने तीनों आरोपियों से अलग-अलग पूछताछ की तो खदरा निवासी सूरज वर्मा ने स्वीकार कर लिया कि दोस्ती के चलते उसने पुष्पेंद्र का साथ दिया। उसने बताया कि गैराज में पड़ी पुष्पेंद्र की कार की मरम्मत के लिए सूरज ने अपनी बाइक गिरवी रखकर 15 हजार रुपए जुटाए थे। इतना ही नहीं आरोपियों ने कुबूला कि वारदात आदिलनगर वाले किराये के मकान में दो सितंबर को सुबह चार बजे के करीब अंजाम दिया। इससे पहले शाम को सूरज अपनी स्कूटी से गोविंद को लेकर पहुंचा और एक दोस्त के यहां रुके। 

सोनी की हत्या के बाद सीसीटीवी फुटेज में कैद हुए तीनों आरोपी
साजिश के अंतर्गत पुष्पेंद्र न दरवाजा खोलकर दोनों को कमरे में दाखिल कराया। उसके बाद कमरे में सो रही सोनी का पैर गोविंद और हाथ सूरज ने पकड़ लिया। इससे पहले सोनी कुछ समझ पाती कि पुष्पेंद्र ने तौलिये से उसका मुंह दबाकर मार डाला। इतना ही नहीं जमीन पर शव को बैठने की मुद्रा में रखकर ऊपर से बोरी डालकर बांधा और कार की पिछली सीट पर डाल दिया। उसके बाद सूरज स्कूटी से और दोनों भाई कार से निकल गए और बहराइच के पास घाघरा नदी में शव फेंका और वापस आ गए। इस मामले में पुलिस के अनुसार आदिलनगर में पुष्पेंद्र के घर के पास एक अस्पताल है। जिसमें सीसीटीवी कैमरे में तीनों बोरी लेकर आते और कार में रखते हुए नजर आ रहे हैं। उसके बाद टेढ़ी पुलिया और मुंशी पुलिया के कैमरों में तीनों के साथ जाने की तस्वीरें कैद हुईं है। सीसीटीवी फुटेज के अनुसार अगली सीट पर गोविंद बैठा था और पुष्पेंद्र कार चला रहा था। इतना ही नहीं शव को ठिकाने लगाने के बाद प्लासियो मॉल पहुंचे और खुद को बचाने के इरादे से सीसीटीवी में खुद को कैद कराया। 

आरोपी पति ने पत्नी सोनी के खिलाफ गुमशुदगी की दी तहरीर
आरोपियों ने सोनी का मोबाइल भी झाड़ियों में फेंक दिया। इसी दौरान दिल्ली में रहने वाले सोनी ने दोस्त ने कॉल की और रिसीव नहीं होने पर पुष्पेंद्र से संपर्क किया तो उसने बताया कि सोनी अपने प्रेमी के साथ भाग गई है। दरअसल पुष्पेंद्र ने छह सितंबर को सोनी की गुमशुदगी की तहरीर दी थी। पुलिस ने पूछताछ की तो लगातार बयान बदल रहे थे। पुलिस को शक हुआ तो मोबाइल की लोकेशन निकाली फिर पुष्पेंद्र और सूरज को हिरासत में लेकर पूछा लेकिन उसके बाद भी कोई सुराग नहीं लगा। इसके बाद गोविंद को गोंडा से हिरासत में लिया और रास्ते में कड़ाई से पूछताछ की तो उसने पूरी वारदात बता दी। जब इसका वीडियो पुलिस ने पुष्पेंद्र और सूरज को दिखाया तो दोनों की हिम्मत टूट गई और दोनों ने अपना गुनाह स्वीकार कर लिया। इस पूरे प्रकरण को लेकर प्रभारी निरीक्षक सुशांत गोल्फ सिटी शैलेंद्र गिरी के अनुसार इशरत परवीन उर्फ सोनी तिवारी ने भाई वजाहत हुसैन ने दूसरी तहरीर लेकर गुमशुदगी के मुकदमे को हत्या में बदला गया और गुडंबा थाने में ट्रांसफर कर दिया गया।

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