सार
प्रयागराज में संगम की रेती पर माघ मेला 2020 शुरू हो रहा है। 10 जनवरी को पौष पूर्णिमा से इस मेले की शुरुआत हो जाएगी। मेले की तैयारियों को पूरा करने के लिए प्रशासन जुटा हुआ है। हांलाकि इस बार मेले में अव्यस्थाएं बहुत हैं। प्रशासन अभी तक उन अव्यवस्थाओं को दूर करने में सफल नहीं हो पाया है। इस बार माघ मेले में प्रशासन द्वारा एक नया प्लान तैयार किया गया है। इससे माघ मेले की भीड़ में अपनों से खोने के बाद घंटों भटकने वाले स्न्नानार्थियों को भटकने से मुक्ति मिलेगी।
प्रयागराज(Uttar Pradesh ). प्रयागराज में संगम की रेती पर माघ मेला 2020 शुरू हो रहा है। 10 जनवरी को पौष पूर्णिमा से इस मेले की शुरुआत हो जाएगी। मेले की तैयारियों को पूरा करने के लिए प्रशासन जुटा हुआ है। हांलाकि इस बार मेले में अव्यस्थाएं बहुत हैं। प्रशासन अभी तक उन अव्यवस्थाओं को दूर करने में सफल नहीं हो पाया है। इस बार माघ मेले में प्रशासन द्वारा एक नया प्लान तैयार किया गया है। इससे माघ मेले की भीड़ में अपनों से खोने के बाद घंटों भटकने वाले स्न्नानार्थियों को भटकने से मुक्ति मिलेगी।
माघ मेले की तैयारियों में इस बार प्रशासन ने एक नया तरीका इस्तेमाल किया है। मेला प्रशासन ने संगम के घाटों पर लगे बिजली के खम्भों में नंबर वाला एक फ्लैक्स लगवाया है। माना जा रहा है कि इससे संगम में स्नान करने आने आंवले श्रद्धालु अपनों से बिछड़ कर भटकेंगे नहीं। प्रशासन बराबर इन फ्लैक्स पर लिखे नंबरों का प्रयोग कर अपने नियत स्थान पर पहुंचने के लिए अनाउंसमेंट भी करता रहेगा।
8 स्नान घाटों पर 1100 खम्भों में लगाए गए हैं फ्लैक्स
प्रशासन द्वारा संगम के 8 स्नान घाटों पर तकरीबन 1100 खम्भे लगाए गए हैं। इन सभी खम्भों पर नंबर वाले फ्लैक्स लगाए गए हैं। प्रशासनिक अफसरों का मानना है कि प्रमुख स्नान पर्वों पर जब लाखों की संख्या में श्रद्धालु गंगा स्नान के लिए पहुंचेंगे तब इन खम्भों की विशेष उपयोगिता साबित होगी। जो लोग कपड़े घाट पर उतारकर स्नान को जाएंगे तो नंबर वाले पोल को ध्यान में रखेंगे और स्नान कर लौटेंगे तो पोल पर लिखे नंबर से उस स्थान पर पहुंचने में उन्हें आसानी होगी।
जल्द पूरी होंगी तैयारियां
माघ मेला प्रभारी रजनीश मिश्रा ने बताया कि संगम के सरकुलेटिंग एरिया समेत विभिन्न स्नान घाटों पर इसका एनाउंस भी होता रहेगा कि श्रद्धालु स्नान करने के दौरान जिस विद्युत पोल के पास अपना सामान रखें, उस पोल का नंबर जरूर याद रखें। इससे श्रद्धालु भटकने से बच सकेंगे। इसके आलावा दलदल होने से मेले की तैयारियों को अंतिम रूप देने में कुछ दिक्क्तें आईं थीं लेकिन अब उसका भी निदान निकाल लिया गया है। जल्द ही तैयारियां पूरी कर लीं जाएंगी।