सार

नोएडा के सेक्टर 93-ए में स्थिति सुपरटेक एमरॉल्ड सोसाइटी में ट्विन टावर को धमाके से धवस्त कर दिया गया। एमरॉल्ड कोर्ट में बने ये दोनों टॉवर रविवार को जमींदोज हो गए। वहीं आसपास के लोग अपने घरों में वापसी कब कर पाएंगे इसको लेकर रितु माहेश्वरी ने मीडिया से बातचीत के दौरान बताया है।

नोएडा: नोएडा के सेक्टर 93-ए में स्थित सुपरटेक के ट्विन टॉवर्स को सुप्रीम कोर्ट के आदेश के बाद रविवार 28 अगस्त को ध्वस्त कर दिया गया है। कुछ सेकेंड में बरसों से अवैध रूप से खड़ी गगनचुंबी इमारतें मलबे के ढेर में तब्दील हो गई। एमरल्ड कोर्ट में बने ये दोनों टावर को जमीदोज़ करने से पहले ही वहां आसपास के लोगों की सुरक्षा को ध्यान में रखते हुए वहां से हटा दिया गया था। इन्हीं लोगों को लेकर अब नोएडा की सीईओ ने रितु माहेश्वरी ने बताया है कि वे लोग शाम 6.30 बजे के बाद ही अपने घर वापस जा सकेंगे।

एक घंटे बाद बेहतर स्थिति का चलेगा पता
सीईओ रितु माहेश्वरी ने मीडिया से बातचीत में कहा कि थोड़ा सा मलबा रोड की साइड और ATS की तरफ गया है। जैसे ही अंदर से क्लीयरन्स आएगी, तभी आपको कुछ बता पाएंगे। 6:30 बजे के बाद वहां के रेसिडेंट वालों को घर जाने मिलेगा। इसके अलावा उन्होंने कहा कि एक घंटे बाद बेहतर स्थिति पता चल पाएगी। देश की राजधानी दिल्ली से सटे नोएडा में सुपरटेक एमराल्ड कोर्ट हाउसिंग सोसाइटी के अंदर साल 2009 से ही 32 मंजिला एपेक्स और 29 मंजिला सियान टावर का निर्माणाधीन था। 

देश में पहली सबसे ऊंची इमारत हुई धराशायी
दोनों इमारतें को अवैध रूप से बनाया गया था। इनको धराशायी करने के लिए सुप्रीम कोर्ट के आदेश के एक साल बाद यह कार्रवाई की गई है। दिल्ली की प्रतिष्ठित कुतुब मीनार (73 मीटर) से ऊंचे इन टावर को ‘वाटरफॉल इम्प्लोजन’ तकनीक की मदद से गिराया गया। बता दें कि ट्विन टावर भारत में अब तक ध्वस्त की गई सबसे ऊंची इमारत रहीं। लगभग 100 मीटर ऊंचे टावर को चंद सेकेंड में ध्वस्त कर दिया गया। विस्फोट के दौरान एहतियातन आसपास की सड़कों को बंद कर दिया गया था और लोगों को वहां से हटा दिया गया था। 

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