Dusshara 2022 Wishes: आश्विन मास के शुक्ल पक्ष की दशमी तिथि को विजयादशमी का पर्व मनाया जाता है। इस बार ये पर्व 5 अक्टूबर, बुधवार को मनाया जाएगा। मान्यता के अनुसार, इसी तिथि पर भगवान श्रीराम ने राक्षसराज रावण का वध किया था।
गंगा दशहरा के उपलक्ष्य में अयोध्या में सरयू का विशेष पूजन किया गया। 125 लीटर दूध से अभिषेक किया तो वहीं 600 मीटर की लंबी चुनरी चढाई गई। गंगा दशहरा के दिन गंगा स्नान के साथ सरयू स्नान का विशेष महत्व है।
हरिद्वार में गंगा दशहरा पर्व पर स्नान के लिए श्रद्धालुओं का सैलाब उमड़ा है। दूसरे दिन निर्जला एकादशी को ध्यान में रखते हुए प्रशासन ने पूरी तैयारियां कर ली है। इसके साथ ही घाटों की निगरानी ड्रोन से की जा रही है।
हिंदू धर्म में देवनदी गंगा का विशेष स्थान है। इसे 7 सबसे पवित्र नदियों में सबसे ज्यादा महत्वपूर्ण माना गया है। अनेक ग्रंथों में इस नदी से संबंधित कथाओं का वर्णन मिलता है।
अनेक धर्म ग्रंथों में देवनदी गंगा के महत्व के बारे में बताया गया है। गंगा स्नान करने से ही मोक्ष प्राप्त हो जाता है, ऐसा पुराणों में लिखा है। हर साल ज्येष्ठ मास के शुक्ल पक्ष की दशमी तिथि को गंगा दशहरे (Ganga Dussehra 2022) का पर्व मनाया जाता है।
गंगा दशहरा व निर्जला एकादशी को ध्यान में रखते हुए प्रशासन अलर्ट मोड पर है। इसी वजह से वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक डॉ. योगेंद्र सिंह रावत ने पहले से ही अधीनस्थों के साथ मीटिंग कर रणनीति बनाई और आवश्यक निर्देश दिए।
धर्म ग्रंथों के अनुसार, ज्येष्ठ मास के शुक्ल पक्ष की दशमी तिथि को गंगा दशमी या गंगा दशहरा (Ganga Dussehra 2022) का पर्व मनाया जाता है। इस बार ये पर्व 9 जून, गुरुवार को है।
मरने वाले भाइयों की जगनेर (Jagner) में सिलाई की दुकान थी। पिछले साल एक भाई की बीमारी के कारण मौत हो गई थी। मारे गए युवकों में से एक राजेश की अगले महीने शादी थी। घर में शादी की तैयारी चल रही थी, लेकिन ये हादसा (Accident) हो गया।
इस बार 15 अक्टूबर, शुक्रवार को दशहरा पर्व (Dussehra 2021) मनाया जाएगा। दशहरा सर्वसिद्धिदायक तिथि मानी जाती है। इसलिए इस दिन सभी शुभ कार्य फलकारी माने जाते हैं। इस दिन शस्त्र पूजा और देवी प्रतिमा व जवारे विसर्जन किए जाते हैं।
प्रतिवर्ष आश्विन मास के शुक्ल पक्ष की दशमी तिथि को दशहरा पर्व (Dussehra 2021) मनाया जाता है। इस बार ये पर्व 15 अक्टूबर, शुक्रवार को है। इस दिन पूरे देश में बुराई के प्रतीक रावण के पुतलों का दहन किया जाता है।