किशनगंज पुलिस थाना निरीक्षक अरुण सोलंकी के मुताबिक, घटना मंगलवार को तब पता चली, जब एक आंगनबाड़ी कार्यकर्ता ने इस लड़की को अस्वस्थ देखा। उसने क्षेत्र की एक आशा कार्यकर्ता को सूचना दी। इसके बाद आशा कार्यकर्ता नाबालिग लड़की को भागोरा स्थित प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र लेकर गई। यहां डॉक्टर्स को संदेह हुआ तो उन्होंने महू सिविल अस्पताल रेफर कर दिया।