सार
जगुआर लैंड रोवर की कारें अब भारत में बनेगी। इससे पहले जब से कंपनी की स्थापना हुई थी, तब से लेकर अब तक मैन्युफैक्चिरिंग सिर्फ ब्रिटेन में होती थी। साल 2008 में फोर्ड जब आर्थिक संकट से गुजर रही थी। तब टाटा ने जगुआर और लैंडरोवर खरीदने का फैसला किया।
ऑटो डेस्क. टाटा मोटर्स के मालिकाना हक वाली जगुआर लैड रोवर की मैन्युफैक्चरिंग अब भारत में होगी। पहले इस गाड़ी की मैन्युफैक्चरिंग सिर्फ ब्रिटेन में होती थी। जगुआर लैंड रोवर की फ्लैगशिप कारें रेंज रोवर और रेंज रोवर स्पोर्ट्स की स्थापना 1970 में हुई थी। अब तक इसे इंग्लैंड के सोलीहुल में होता था। भारत इन कारों की पूरी यूनिट्स बनाने वाला देश बनेगा। ऐसे में इन कारों कीमतों में गिरावट आ सकती है। जगुआर लैंड रोवर के अधिकारियों ने बताया कि इन कारों की कीमतों में 18 से 22% की कमी आएगी।
पुणे में लगेगा जगुआर का प्लांट
कंपनी के अधिकारियों ने बताया कि पुणे में जगुआर लैंड रोवर प्लांट में पहले से रेंज रोवर वेलार, इवोक, जगुआर एफ-पेस और डिस्कवरी स्पोर्ट बन रही हैं। आपको बता दें कि फाइनेंशियल ईयर 2023-24 में भारत में कारों की सेल में 81% बढ़ोतरी के बाद दो और कारें बनाने का फैसला किया है।
जगुआर के रेवेन्यू में भारी बढ़ोतरी
टाटा मोटर्स की जगुआर लैंड रोवर यूनिट ने फाइनेंशियल ईयर 2023-24 की चौथी तिमाही में शानदार प्रदर्शन रहा। इस तिमाही में तिमाही में कंपनी का रेवेन्यू 11% की बढ़ोतरी हुई। इस तिमाही में कंपनी का रेवेन्यू 83,000 करोड़ रुपए रहा था। वहीं, पूरे वित्त वर्ष 2023-24 के लिए, रेवेन्यू 3 लाख करोड़ रुपए रहा। ये बढ़ोतरी बीते साल की तुलना में 27% ज्यादा है।
2008 में टाटा ने जगुआर-लैंडरोवर का अधिग्रहण
जगुआर-लैंडरोवर का स्वामित्व फोर्ड के पास था। साल 2008 में फोर्ड जब आर्थिक संकट से गुजर रही थी। तब टाटा ने जगुआर और लैंडरोवर खरीदने का फैसला किया। ये डील 2.3 अरब डॉलर यानी 9,300 करोड़ रुपए में हुआ था।
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