सार

देश के सबसे अमीर परिवार के मुख‍िया मुकेश अंबानी (Mukesh Ambani) उत्‍तराधि‍कार को लेकर किसी तरह का विवाद नहीं चाहते हैं। जिसके लिए वो दुनियाभर के उत्‍तराध‍िकार मॉडल (Succession Model) का अध्‍ययन करने में जुटे हुए हैं। अंबानी परिवार के इत‍िहास में उत्‍तराधि‍कार करे लेकर विवाद हो चुका है।

बिजनेस डेस्‍क। दुनिया के बड़े औद्योगिक परिवारों में उत्‍तराधि‍कार विवाद हुए हैं। यह किसी से भी अछूता नहीं है। भारत में ही करीब 15 साल पहले अंबानी परिवार (Ambani Familly) में देखने को म‍िला था। तब धीरूभाई अंबानी की पत्‍नी कोकिलाबेन अंबानी ने बीच-बचाव करते हुए कारोबार को दो हिस्‍सों में बांट दिया था। परिवार फ‍िर से कारोबार को लेकर ना बंट जाए मुकेश अंबानी (Mukesh Ambani) ने अभी से ही इसका इंतजाम करने में जुट गए हैं। 203 अरब डॉलर के रिलायंस अंपायर को इस तरह‍ से व्‍यवस्‍थ‍ित करना चाहते हैं जिससे उनके तीनों बच्‍चों बच्‍चों को लेकर उत्‍तराध‍िकार वि‍वाद पैदा ना हो जाए। इसके लि‍ए वो दुनिया भर के उत्‍तराध‍िकार मॉडल (Succession Model) का अध्‍ययन करने में जुटे हुए हैं।

नई पीढ़ी के कंधों पर है कारोबार की जिम्‍मेदारी
मुकेश अंबानी अब अपने बच्‍चों को बिजनेस की जिम्‍मेदारी देने पर विचार कर रहे हैं। इसका जिक्र भी उन्‍होंने किया है। वो अपने शेयरहोल्‍डर्स को इस बारे में जानकारी दे चुके हैं क‍ि अब आकाश, ईशा और अनंत अंबानी के हाथों में ही बिजनेस की जिम्‍मेदारी होगी। तीनों भी परि‍वार के कारोबार में ज्‍यादा सक्रिय दिख रहे हैं। वैसे रिलायंस के चैयरमैन पद से उन्‍होंने इस्‍तीफा नहीं दिया है ना की उन्‍होंने ऐसी कोई आध‍िकारिक घोषणा ही की है।  

किस उत्‍तराध‍िकार मॉडल को अपना सकते हैं अंबानी
इस मामले में तेजी के साथ काम चलल रहा है, लेकिन जो मॉडल सामने आया है वो है वॉल्‍टन मॉडल। वास्‍तव में वॉलमार्ट इंक ग्रुप के मालिक सैम वॉल्‍मार्ट ने एक ऐसा उत्‍तराध‍िकार मॉडल तैयार किया। जिसमें विवाद की गुंजाइश ही ना रहे। जो मुकेश अंबानी को काफी पसंद आ रहा है। ब्‍लूमबर्ग की रिपोर्ट के अनुसार मुकेश अंबानी परिवार की होल्‍ड‍िंग को एक ट्रस्‍ट में डालना चाहते हैं जो आरआईएल को कंट्रोल करेगी। इस ट्रंट में खुद अंबानी, उनकी पत्‍नी और बच्‍चों की ट्रस्‍ट में हिस्‍सेदारी होगी। ट्रस्‍क के बोर्ड में परिवार के साथ नजदीकी सलाहकार भी शामिल होंगे।

कैसे चल सकता है कारोबार
जानकारी के अनुसार रिलायंस कारोबार के संचालित होने का ढंग पूरी तरह से बदल जाएगा। मैनेजमेंट कंट्रोल प्रोफेशनल लोगों के पास होगा जो रिलायंस के पूरे कारोबार को देखेंगे। रिलायंस की एक एंटीटी के लिए अलग-अलग प्रोफेशनल्‍स होंगे। आपको बता दें क‍ि रिलायंस का कारोबार रिफाइनिंग, पेट्रोकेमिकल्स से लेकर टेलिकम्युनिकेशंस, ई-कॉमर्स और ग्रीन एनर्जी तक फैला हुआ है। मुकेश अंबानी अभी काफी ऑप्‍शन पर विचार कर रहे हैं, अभी कोई फाइनल कॉल नहीं लिया है। रिपोर्ट के अनुसार रिलायंस के प्रतिनिधियों और अंबानी ने ब्लूमबर्ग के ईमेल और फोन कॉल का कोई जवाब नहीं दिया है।




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परिवार में पहले भी हो चुका है विवाद
मुकेश अंबानी की उत्‍तराध‍िकार मॉडल की चिंता यूं ही नहीं है। उन्‍होंने अपने परि‍वार में डेढ़ दशक पहले इस विवाद को देखा ही नहीं बल्‍क‍ि झेला भी है। 2002 में धीरूभाई अंबानी की मौत के तीन साल के बाद मुकेश और अनिल अंबानी के बीच विवाद पैदा हो गया था। जिसे खत्‍म करने में अंबानी बंधुओं की माता कोकिला बेन को सामने आना पड़ा। दोनों के बीच कारोबार को बांटकर विवाद को खत्‍म कि‍या गया। उस समय आईसीआईसीआई बैंक के प्रमुख कामत ने भी अहम भूमि‍का निभाई थी।