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विकास दुबे को पकड़ने वाला बिहार का था लाखन यादव, डीएम-एसएसपी ने किया पूछताछ, अब होगा सम्मानित
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यूपी के कानपुर में 8 पुलिसकर्मियों की हत्या करने वाला विकास दुबे उज्जैन के महाकालेश्वर मंदिर से एक दिन पहले सुबह पकड़ा गया था। इसे पकड़ने में सबसे बड़ी भूमिका एसआईएस इंडिया लिमिटेड के सुरक्षाकर्मी लाखन यादव की थी, जो बिहार के रहने वाला है।
सुरक्षा का हवाला देते हुए गांव और नाम न बताने की शर्त पर घरवालों ने कहा कि लाखन बहुत खुश है। उन्होंने कहा कि लाखन यादव ने बताया कि उसने अखबारों में भी घटना के बारे में पढ़ा था और विकास की फोटो देखी थी, जिससे वह उसे पहचान लिया था।
लाखन आदव ने मास्क हटते ही विकास को पहचान लिया था और पूछा था कि तुम कौन हो, तब आरोपी चिल्ला कर कहने लगा कि मैं विकास दुबे हूं कानपुर वाला। तत्काल ही एसआईएस के सुरक्षाकर्मी लाखन यादव और सुपरवाइजर मोहित ने उसे पकड़ा और क्विक रिस्पांस टीम को सतर्क कर दिया था।
घरवालों के मुताबिक लाखन यादव ने बताया कि घटनास्थल पर चार और सुरक्षाकर्मी थे, जो तत्काल ही मंदिर परिसर स्थित थाना पुलिस को सूचित किए और आरोपी को पकड़कर थाना ले जाया गया था। जहां पुष्टि हुई कि पकड़ा गया व्यक्ति विकास दुबे ही है। विकास के साथ तीन से चार लोग और भी थे।
मंदिर में एसआईएस सुरक्षा एजेंसी के 65 सुरक्षाकर्मियों की डयूटी है, जो अलग-अलग शिफ्ट में काम करते हैं। जिस समय विकास पकड़ा गया वहां पर सुरक्षा एजेंसी के पांच कर्मी थे। 28 वर्षीय सुरक्षाकर्मी लाखन यादव और उसके साथियों से उज्जैन के कलेक्टर आशीष सिंह और एसएसपी संजय सिंह ने अपने कार्यालय में ले जाकर पूछताछ की है।
एसआईएस के सुरक्षाकर्मी लाखन यादव की बहादुरी पर एसआईएस के ग्रुप एमडी ऋतुराज सिन्हा काफी खुश हैं। ऋतुराज सिन्हा ने कहा कि लाखन जैसे लाखों सुरक्षाकर्मी हमारे देश के अलग-अलग प्रमुख स्थानों पर सुरक्षा मुहैया करा रहे हैं। यह सुरक्षाकर्मी देश की सेवा कर रहे हैं। आज लाखन ने जो कुछ किया वह काबिले तारीफ है। लाखन ने बहादुरी का काम किया है। उसे इस बहादुरी के लिए कंपनी की तरफ से पुरस्कृत किया जाएगा और उसे सम्मानित भी किया जाएगा।
विकास दुबे को उज्जैन पुलिस यहां के एक पुलिस ट्रेनिंग स्कूल लेकर गई थी, जहां उससे करीब 8 घंटे तक पूछताछ की गई। इसके बाद करीब 7 बजे यूपी पुलिस को सौंप दिया गया। जिसके बाद यूपी पुलिस उसको लेकर कानपुर के लिए रवाना हुई थी।
बता दें एसएसपी कानपुर दिनेश कुमार ने बताया, कार काफी रफ्तार से आ रही थी। उसी वक्त डिवाइडर से टकराकर कार पलट गई। इस दौरान कार में सवार पुलिसकर्मी और एसटीएफ के अफसर भी जख्मी हो गए।
गाड़ी पलटने के बाद मोस्टवांटेड विकास दुबे ने पिस्टल छीनकर गोली चलाई। एनकाउंटर में गंभीर रूप से घायल विकास को पुलिस अस्पताल लेकर गई। जहां उसे मृत घोषित कर दिया गया।