जाने 'Blue Girl' के बारे में, जिसके बलिदान से टूटी 40 साल पुरानी परंपरा
तेहरान. ईरान में 40 साल से परंपरा थी कि महिला स्टेडियम में जाकर कोई भी गेम नहीं देख सकती। 40 साल से चली आ रही इस रुढ़िवादी परंपरा को खत्म करने वाली सहर भले ही आज इस दुनिया में नहीं है। लेकिन उनके एक बलिदान ने सरकार को झुका दिया जिसके बाद ईरान सरकार ने फेडरेशन इंटरनेशनल फुटबॉल एसोसिएशन (फीफा) के आदेश और पिछले महीने हुई 'ब्लू गर्ल' की मौत के बाद महिलाओं को स्टेडियम में प्रवेश देने का फैसला लिया है। ईरान फुटबॉल टीम और कोलंबिया के बीच गुरुवार को फीफा वर्ल्ड कप 2022 का क्वालिफायर मुकाबला होना है। इसके लिए ईरान सरकार ने 3500 महिलाओं को मैच देखने की अनुमति दी है। जबकि स्टेडियम में दर्शकों की क्षमता 1 लाख है।
| Published : Oct 10 2019, 04:08 PM IST
जाने 'Blue Girl' के बारे में, जिसके बलिदान से टूटी 40 साल पुरानी परंपरा
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कम्प्यूटर साइंस में ग्रेजुएट सहर, ईरानी कानून से भलीभांति वाकिफ थी। बावजूद वह अपनी पसंदीदा फुटबॉल टीम को अपनी आंखों के सामने स्टेडियम में खेलते देखना चाहती थी।
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29 साल की सहर खोडयारी फुटबॉल प्रशंसक थी। इसी साल मार्च में सहर लड़कों के कपड़े पहनकर तेहरान स्टेडियम में हो रहा फुटबॉल मैच देखने पहुंची थी।
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मार्च 2019 में उसकी फेवरेट फुटबॉल टीम एस्टेगलल का आजादी स्टेडियम में मैच था। एस्टेगलल, ईरान का ही एक फुटबॉल क्लब है। मैच देखने के लिए सहर ने पुरुषों की ड्रेस पहनी और नीले रंग का विग लगाकर ऊपर से लंबा ओवरकोट डाल लिया।
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मैच के दौरान उसे गिरफ्तार कर लिया गया था। गिरफ्तारी के बाद सहर को कोर्ट ने 6 महीने की सजा सुनाई थी। पिछले महीने ही जेल जाने के डर से सहर ने खुद को आग लगाकर जान दे दी थी।
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सहर की पसंदीदा टीम एस्टेगलल फ़ुटबॉल क्लब थी और इसका कलर ब्लू था। इसी कारण लोग सहर को प्यार से 'ब्लू गर्ल' कहने लगे।