सार

महाराष्ट्र के पूर्व मुख्यमंत्री पृथ्वीराज चव्हाण (Prithviraj Chavan) ने कहा है कि वह चार साल में एक बार भी राहुल गांधी से नहीं मिल पाए। पार्टी नेतृत्व उतना सुलभ नहीं है जितना होना चाहिए।
 

मुंबई। कांग्रेस नेता और महाराष्ट्र के पूर्व मुख्यमंत्री पृथ्वीराज चव्हाण (Prithviraj Chavan) ने कहा है कि राहुल गांधी (Rahul Gandhi) के पास पार्टी के नेताओं के लिए समय नहीं है। चार साल में एक बार भी वह राहुल गांधी से नहीं मिल पाए। कांग्रेस के असंतुष्ट गुट के नेता माने जाने वाले पृथ्वीराज ने कहा कि हाल ही में उदयपुर में कांग्रेस के चिंतन शिविर का आयोजन हुआ था, लेकिन इसमें कोई चिंतन या आत्मनिरीक्षण नहीं हुआ।

पृथ्वीराज ने कहा कि जब मैं दिल्ली में रहता हूं तो पूर्व प्रधानमंत्री डॉक्टर मनमोहन सिंह से कभी-कभी मुलाकात हो जाती है। उनकी तबीयत पहले जैसी नहीं रही, इसके बाद भी वह मेहमाननवाजी में पीछे नहीं रहते और बात करने के लिए हमेशा तैयार   रहते हैं। जब भी मैंने समय की मांग की मेरी मुलाकात सोनिया गांधी से हुई, लेकिन पिछले चार साल में मैं एक बार भी राहुल गांधी से नहीं मिल पाया। यह सिर्फ मेरी बात नहीं है। कई लोग ऐसी शिकायत करते हैं कि पार्टी नेतृत्व उतना सुलभ नहीं है जितना होना चाहिए।

उदयपुर की बैठक में नहीं हुआ आत्मनिरीक्षण
उदयपुर की बैठक के बारे में बोलते हुए चव्हाण ने कहा कि कांग्रेस अध्यक्ष पार्टी के सामने मुद्दों पर चर्चा करने के लिए "चिंतन शिविर" आयोजित करने के लिए सहमत हुई थी। फैसला लिया गया कि चिंतन या आत्मनिरीक्षण की जरूरत नहीं है। पार्टी ने फैसला लिया कि उसे अपनी कमी की पहचान की जरूरत नहीं है। पार्टी सिर्फ भविष्य की ओर देखना चाहती है। 

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क्या यह एक ईमानदार आत्मनिरीक्षण है? मैं यह नहीं कहता कि आत्मनिरीक्षण जवाबदेही तय करने या लोगों को फांसी देने के लिए होनी चाहिए। यह अपनी गलतियों को पहचानने के लिए होनी चाहिए ताकि उसे आगे दोहराया नहीं जाए। बता दें कि पूर्व केंद्रीय मंत्री पृथ्वीराज चव्हाण कांग्रेस के असंतुष्ट नेताओं के समूह जी-23 का हिस्सा हैं। यह समूह पार्टी में संगठनात्मक सुधारों के लिए दबाव बना रहा है।

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