सार
केंद्रीय कर्मचारियों को आधा दिन के अवकाश की पुष्टि की है। हाफ डे में कर्मचारी प्राण प्रतिष्ठा का कार्यक्रम सीधे तौर पर देख सकेंगे।
Ayodhya Ram Mandir Pran Pratistha: अयोध्या में राम मंदिर प्राण प्रतिष्ठा समारोह के लिए सरकारी कर्मचारियों को 22 जनवरी को आधा दिन का अवकाश मिलेगा। इससे कर्मचारी राम मंदिर में रामलला के प्राण प्रतिष्ठा का सीधा प्रसारण देख सकेंगे। केंद्रीय मंत्री जितेंद्र सिंह ने केंद्रीय कर्मचारियों को आधा दिन के अवकाश की पुष्टि की है। हाफ डे में कर्मचारी प्राण प्रतिष्ठा का कार्यक्रम सीधे तौर पर देख सकेंगे।
केंद्रीय मंत्री जितेंद्र सिंह ने बताया कि 22 जनवरी को सरकारी कार्यालयों में आधा दिन रहेगा। सरकार ने इस संबंध में एक अधिसूचना भी जारी की है।
मंत्री रहेंगे अपने घरों पर दीपक जलाएंगे और गरीबों का भंडारा
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने राम मंदिर में प्राण प्रतिष्ठा को लेकर एक मीटिंग भी की है। इस मीटिंग में सभी मंत्रियों को अपने क्षेत्र में रहने और अपने-अपने घरों पर दीपक जलाने को कहा गया है। मंत्रियों को निर्देश दिया गया कि वह दीपावली की तरह अपने घरों पर सेलिब्रेट करें। सभी मंत्री, गरीबों को खाना भी खिलाएं।
मंत्री 22 जनवरी के बाद लोगों को राम मंदिर यात्रा का करें प्रबंध
मंत्रियों को कहा गया है कि 22 जनवरी के बाद जब सामान्य लोगों के लिए राम मंदिर दर्शन के लिए खोला जाएगा तो सभी मंत्री अपने-अपने क्षेत्रों में रहकर लोगों को दर्शन करने के लिए पूरी यात्रा का प्रबंध करें। मंत्री अपने निर्वाचन क्षेत्र के लोगों के साथ अयोध्या जाएंगे और पूरी यात्रा की मॉनिटरिंग करेंगे।
प्राण प्रतिष्ठा की भव्य तैयारी
अयोध्या में राम मंदिर का निर्माण हो रहा है। रामलला की प्रतिमा का प्राण प्रतिष्ठा 22 जनवरी को किया जाना है। इसके बाद मंत्री-सांसद व विधायक अपने अपने क्षेत्र के लोगों को अयोध्या दर्शन कराएंगे।
प्राण प्रतिष्ठा समारोह में पीएम मोदी इस भव्य कार्यक्रम में शामिल होंगे। कार्यक्रम के लिए अभिनेताओं और क्रिकेटरों सहित कई सार्वजनिक हस्तियों को आमंत्रित किया गया है। हालांकि, इंडिया गठबंधन में शामिल दल इस कार्यक्रम से दूरी बनाने का फैसला किया है। मुख्य विपक्षी कांग्रेस ने कहा कि भाजपा ने अयोध्या में मंदिर के बाहर एक राजनीतिक परियोजना बनाई है। कांग्रेस नेता उन लोगों की भावनाओं का सम्मान करती है जो भगवान राम का सम्मान करते हैं। वे इस कार्यक्रम में शामिल नहीं होंगे। शरद पवार और अरविंद केजरीवाल आदि अन्य विपक्षी नेताओं ने भी अलग-अलग कारणों से कार्यक्रम से दूरी बनाने का फैसला किया है।
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