सार

भाजपा प्रवक्ता पात्रा ने कहा कि दिल्ली आबकारी नीति में चार्जशीट को लेकर आप संयोजक अरविंद केजरीवाल और डिप्टी सीएम मनीष सिसोदिया झूठ फैला रहे हैं। आबकारी नीति घोटाला को लेकर झूठी कहानियां गढ़ कर यह बताने की कोशिश कर रहे हैं कि कोई घोटाला ही नहीं हुआ है।

Delhi Excise Policy case: मनीष सिसोदिया का दिल्ली आबकारी नीति केस की चार्जशीट में नाम नहीं होने पर सियासी तापमान बढ़ता ही जा रहा है। एक ओर जहां आम आदमी पार्टी ने साफ तौर पर सीबीआई और ईडी जांच को राजनीतिक कार्रवाई करार दिया है तो दूसरी ओर बीजेपी ने दावा किया है कि मनीष सिसोदिया के खिलाफ कार्रवाई अवश्य होगी। बीजेपी के राष्ट्रीय प्रवक्ता संबित पात्रा ने कहा कि डिप्टी सीएम मनीष सिसोदिया को दिल्ली आबकारी नीति कांड में कानून का सामना करना पड़ेगा। आम सरकार ने घूसखोरी के लिए नीति का इस्तेमाल किया है।

केजरीवाल और सिसोदिया झूठ फैला रहे

भाजपा प्रवक्ता पात्रा ने कहा कि दिल्ली आबकारी नीति में चार्जशीट को लेकर आप संयोजक अरविंद केजरीवाल और डिप्टी सीएम मनीष सिसोदिया झूठ फैला रहे हैं। आबकारी नीति घोटाला को लेकर झूठी कहानियां गढ़ कर यह बताने की कोशिश कर रहे हैं कि कोई घोटाला ही नहीं हुआ है। मनीष सिसोदिया को आम आदमी पार्टी निर्दोष साबित करने के लिए कहानी बना रही है जबकि जल्द ही उनको इस घोटाले में कानून का सामना करना पड़ेगा। पात्रा ने कहा कि सिसोदिया के शीर्ष अधिकारियों ने शराब लाइसेंसधारियों को गलत तरीके से लाभ पहुंचाने के लिए शराब नीति बनाने में सहायता की और उसे अनुमोदन के बिना ही लागू कर दिया। यह अधिकारी निलंबित हैं और जांच चल रही है। मनीष सिसोदिया को कानून का सामना करना ही होगा।

आप ने लगाया था बीजेपी की केंद्र सरकार पर आरोप

उधर, आम आदमी पार्टी ने केंद्र सरकार और बीजेपी पर मनीष सिसोदिया को फंसाने का आरोप लगाया था। आप ने कहा कि केंद्र सरकार और बीजेपी दिल्ली आबकारी नीति में मनीष सिसोदिया को फंसाने की साजिश रच रही है। केंद्र ईडी और सीबीआई का दुरुपयोग कर विरोधियों की आवाज दबाने में लगी हुई है। आप ने कहा कि दिल्ली सरकार के अच्छे कामों को दबाने के लिए केंद्र सरकार काम कर रही है ताकि बीजेपी की नाकामियों पर पर्दा पड़ी रहे।

क्या है आबकारी नीति करप्शन केस?

दिल्ली सरकार ने बीते साल नई आबकारी नीति लाई थी। दिल्ली आबकारी नीति के लागू होने के बाद आप सरकार पर भ्रष्टाचार के आरोप लगे थे। आरोप है कि इस नीति से डिप्टी सीएम मनीष सिसोदिया ने करीबियों को लाभ पहुंचाया है। इसके एवज में उनके खास लोगों के माध्यम से करोड़ों रुपयों का ट्रांसफर किया गया है। बीते दिनों दिल्ली के एलजी वीके सक्सेना ने इस मामले की सीबीआई जांच की सिफारिश की थी। गुरुवार को सीबीआई ने मनीष सिसोदिया समेत 15 लोगों के खिलाफ केस दर्ज किया था। सीबीआई के एफआईआर में आरव गोपी कृष्णा, पूर्व उप आबकारी आयुक्त आनंद तिवारी और सहायक आबकारी आयुक्त पंकज भटनागर के अलावा नौ व्यवसायी और दो कंपनियों को नामजद किया गया है। सीबीआई ने एफआईआर में कुल नौ निजी व्यक्तियों को आरोपी बनाया है। मनोरंजन और इवेंट मैनेजमेंट कंपनी ओनली मच लाउडर के पूर्व सीईओ विजय नायर, ब्रिंडको स्पिरिट्स के मालिक अमनदीप ढाल, इंडोस्पिरिट के एमडी समीर महेंद्रू, महादेव लिकर्स के सन्नी मारवाह और हैदराबाद के अरुण रामचंद्र पिल्लई के अलावा अमित अरोड़ा, दिनेश अरोड़ा, अर्जुन पांडेय, पर्नोड रिकार्ड के पूर्व वाइस प्रेसिडेंट मनोज राय को नामजद किया गया है।

सीबीआई की एंट्री के बाद आबकारी नीति को वापस ले लिया

दिल्ली सरकार, जिसका नेतृत्व अरविंद केजरीवाल करते हैं, ने 17 नवम्बर 2021 को नई आबकारी नीति को लागू किया था। नई नीति को लेकर बीजेपी ने आपत्ति जताई थी। इस साल दिल्ली में नए उप राज्यपाल के रूप में वीके सक्सेना की नियुक्ति होने के बाद इस मामले में जांच की सिफारिश कर दी गई। उप राज्यपाल वीके सक्सेना ने दिल्ली आबकारी नीति को लागू करने में भ्रष्टाचार की बात कहते हुए सीबीआई जांच की सिफारिश कर दी थी। हालांकि, सीबीआई जांच की सिफारिश के बाद आप सरकार ने नई आबकारी नीति को रद्द कर दिया था।

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