सार
India and UAE Business deal: अबू धाबी के क्राउन प्रिंस शेख खालिद बिन मोहम्मद बिन जायद अल नाहयान भारत की यात्रा पर पहुंचे हैं। क्राउन प्रिंस यहां भारत के साथ बड़ी बिजनेस डील करने पहुंचे हैं। न्यूक्लियर एनर्जी, ऑयल और फूड पार्क प्रोजेक्ट के क्षेत्र में अल नाहयान परिवार और उनकी सरकार बड़ा निवेश यहां करने जा रहा है।
यूएई और भारत के बीच किन-किन क्षेत्रों में हुआ समझौता?
भारत पहुंचे अबू धाबी के क्राउन प्रिंस शेख खालिद बिन मोहम्मद बिन जायद अल नाहयान ने सोमवार को पीएम मोदी से मुलाकात की। क्राउन प्रिंस और पीएम मोदी ने न्यूक्लियर एनर्जी, ऑयल और फूड पार्क डेवलपमेंट के क्षेत्र में विभिन्न समझौतों पर हस्ताक्षर किए।
प्रमुख एमओयू जिस पर हुए हस्ताक्षर
- अमीरात परमाणु ऊर्जा कंपनी (ईएनईसी) और भारतीय परमाणु ऊर्जा सहयोग लिमिटेड (एनपीसीआईएल) के बीच बराक परमाणु ऊर्जा संयंत्र संचालन और रखरखाव के क्षेत्र में एमओयू साइन।
- अबू धाबी नेशनल ऑयल कंपनी (एडीएनओसी) और इंडियन ऑयल कॉर्पोरेशन लिमिटेड के बीच एलएनजी सप्लाई के लिए एमओयू पर हस्ताक्षर।
- एडीएनओसी और इंडिया स्ट्रेटेजिक पेट्रोलियम रिजर्व लिमिटेड (आईएसपीआरएल) के बीच एमओयू हुआ साइन।
- भारत में खाद्य पार्क विकास पर गुजरात सरकार और अबू धाबी डेवलपमेंटल होल्डिंग कंपनी पीजेएससी (एडीक्यू) के बीच एमओयू हुआ साइन।
यूएई का कितना है भारत में इन्वेस्टमेंट?
यूएई और भारत के बीच बड़ा पुराना व्यापारिक संबंध है। भारत का सबसे बड़ा इन्वेस्टर यूएई है। भारत यूएई का दूसरा सबसे बड़ा व्यापारिक साझेदार है जबकि यूएई अरब दुनिया में भारत का सबसे बड़ा व्यापारिक साझेदार है। एक अनुमान है कि इस दशक के आखिर तक दोनों देशों के बीच 100 बिलियन अमेरिकी डॉलर से अधिक का व्यापार हो जाएगा। आधिकारिक आंकड़ों के अनुसार, 2022-23 में दोनों देशों के बीच द्विपक्षीय व्यापार लगभग 85 बिलियन अमेरिकी डॉलर था। 2022-23 में प्रत्यक्ष विदेशी निवेश या एफडीआई के मामले में यूएई भारत में टॉप 4 इन्वेस्टर्स में एक था।
यह भी पढ़ें:
ऑनलाइन फ्रॉड के शिकार लोगों को क्या मिलेगा न्याय? डेटा कर देगा हैरान