सार
एनएसडीसी के सीईओ वेद मणि तिवारी ने एक स्टडी के आंकड़ों का जिक्र करते हुए कहा कि 2047 तक भारत की अर्थव्यवस्था का आकार 35 ट्रिलियन डॉलर (35 लाख करोड़) हो जाएगा।
Indians in Global Workforce: राष्ट्रीय कौशल विकास निगम के मुख्य कार्यकारी अधिकारी (सीईओ) वेद मणि तिवारी ने गुरुवार को कहा कि अगले 24 साल में वैश्विक कार्यबल में 100 करोड़ नये लोग शामिल होंगे जिनमें से हर चौथा व्यक्ति भारतीय होगा। भारत के स्किल और वर्कफोर्स की डिमांड ग्लोबली सबसे अधिक है।
एनएसडीसी के एक कार्यक्रम को संबोधित करते हुए सीईओ वेद मणि तिवारी ने कहा कि कार्यस्थल और शिक्षालय के बीच समन्वय एवं शिक्षा और कौशल के बीच निरंतरता बनाए रखकर ग्लोबल वर्कफोर्स में अपनी दमदार उपस्थिति दर्ज कराया जा सकता है।
2047 में भारत की अर्थव्यवस्था 35 लाख करोड़ हो जाएगी
एनएसडीसी के सीईओ वेद मणि तिवारी ने एक स्टडी के आंकड़ों का जिक्र करते हुए कहा कि 2047 तक भारत की अर्थव्यवस्था का आकार 35 ट्रिलियन डॉलर (35 लाख करोड़) हो जाएगा। उन्होंने कहा कि कल्पना कीजिए भारत की अर्थव्यवस्था करीब चार ट्रिलियन से 35 ट्रिलियन डॉलर की जब बनेगी तब हमारी युवा पीढ़ी के सामने कितने अवसर पैदा होंगे। यह पीढ़ी ऐसी है जो अब से लेकर अगले पांच-दस साल में ग्रेजुएट बनकर अर्थव्यवस्था में अपनी भागीदारी निभाएगी।
आज देश की युवा आबादी की ताकत और उनके सामने पैदा होने वाले अवसर पर प्रकाश डालते हुए वेद मणि तिवारी ने कहा कि पहले हमें बताया जाता था कि भारत की विशाल आबादी एक बड़ी समस्या है जबकि आज सुनने को मिलता है कि हमारे लिए सबसे अच्छी बात यह है कि हमारे पास डेमोग्राफिक डिवीडेंड है क्योंकि हमारी दो तिहारी आबादी 35 वर्ष से कम उम्र की है और भारत दुनिया की सबसे बड़ी युवा आबादी वाला देश है।
उन्होंने कहा कि भारत की अर्थव्यवस्था के 2047 तक 35 ट्रिलियन डॉलर होने के दावे की बात सिर्फ नहीं है बल्कि हमारा दावा एक चौथाई वैश्विक अर्थव्यवस्था पर है क्योंकि ग्लोबल वैल्यू एडिशन यानी वैश्विक मूल्यवर्धन में शामिल कार्यबल में हर चौथा व्यक्ति भारत का होगा।
एनएसडीसी और वीटीयू के बीच एमओयू साइन
कार्यक्र के दौरान राष्ट्रीय कौशल विकास निगम (एनएसडीसी) और विश्वेश्वरैया प्रौद्योगिकी विश्वविद्यालय (वीटीयू) ने एक समझौता ज्ञापन (एमओयू) पर हस्ताक्षर किए। इस रणनीतिक साझेदारी का उद्देश्य शिक्षा और उद्योग के बीच की खाई को पाटते हुए अत्याधुनिक कौशल कार्यक्रम शुरू करना है।
साझेदारी के तहत वीटीयू से संबद्ध 150 से अधिक कॉलेजों में स्किल हब केंद्र स्थापित करना और चुनिंदा इंजीनियरिंग कॉलेजों में उत्कृष्टता केंद्र (सीओई) स्थापित करना है। इन पहलों के माध्यम से प्रधानमंत्री कौशल विकास योजना (पीएमकेवीवाई) के तहत भविष्य के कौशल कार्यक्रम में प्रति कॉलेज 240 छात्रों को नामांकित करने का लक्ष्य है, जो स्किल इंडिया मिशन की प्रमुख योजना है।
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