सार
लोक जनशक्ति पार्टी में बिखराव के बाद पहली बार चिराग पासवान अपनी ताकत दिखाने आशीर्वाद यात्रा पर निकले। 5 जुलाई को रामविलास पासवान की जन्मदिन है। इससे पहले प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने एक ट़्वीट करके रामविलास पासवान को अपना मित्र बताकर उन्हें याद किया। इससे कयास लगाए जाने लगे हैं कि भाजपा का चिराग को समर्थन रहेगा।
नई दिल्ली. रामविलास पासवान के निधन के बाद लोक जनशक्ति में बिखराव के बाद उनके सांसद बेटे चिराग पहली बार अपनी ताकत दिखाने सोमवार से आशीर्वाद यात्रा पर निकले। इससे पहले मोदी के एक ट्वीट ने उनकी हिम्मत बढ़ा दी। प्रधानमंत्री ने रामविलास पासवान को उनके जन्मदिन(5 जुलाई) पर याद करते हुए ट्वीट किया-'आज मेरे मित्र स्वर्गीय रामविलास पासवान जी की जयंती है। मुझे उनकी उपस्थिति की बहुत याद आती है। वह भारत के सबसे अनुभवी सांसदों और प्रशासकों में से एक थे। जन सेवा और दलितों को सशक्त बनाने में उनके योगदान को हमेशा याद किया जाएगा।' हालांकि यात्रा से पहले चिराग पासवान ने कहा-आज हाजीपुर से मैं 'आशीर्वाद यात्रा' की शुरुआत कर रहा हूं। ये यात्रा बिहार के हर ज़िले से होती हुई गुजरेगी। इसका एक ही लक्ष्य है, सबके पास जाना और आशीर्वाद लेना। मुझे किसी को ताकत दिखाने की जरूरत नहीं है। ये यात्रा मैं अपनी संतुष्टि के लिए निकाल रहा हूं।
यात्रा के दौरान बोले चिराग
हम लोगों ने आशीर्वाद यात्रा की शुरुआत की है। हम इसमें संकल्प लेकर चले हैं कि एक नया और विकसित बिहार बनाना है। प्रशासन के द्वारा हम लोगों पर कार्रवाई की जा रही है और रोका जा रहा है। हम लोगों को बाबा साहब का आशीर्वाद लेने से भी रोका गया।
आशीर्वाद यात्रा के जरिये भाजपा करेगी चिराग की ताकत का आकलन
चिराग पासवान की आशीर्वाद यात्रा पर सभी दलों की नजर है। लेकिन भाजपा इस पर विशेष ध्यान दे रही है। इसके जरिये वो चिराग की राजनीतिक ताकत का अंदाजा लगाएगी। बता देंकि अपने चाचा पशुपति पारस 5 सांसदों के साथ चिराग से अलग हो चुके हैं। वे लोजपा पर अपना दावा ठोंक रहे हैं। इस मामले को लेकर चिराग चुनाव आयोग की शरण में हैं। माना जा रहा है कि इस यात्रा के बाद भाजपा फैसला करेगी कि चिराग उनके साथ रहेंगे या नहीं। वहीं, चुनाव आयोग भी संभवत: इसके बाद कोई फैसला ले सकता है कि लोजपा पर किसका अधिकार रहेगी-चिरा
मोदी के करीबी से कर चुके हैं मुलाकात
इससे पहले चिराग पासवान पिछले हफ्ते अचानक अहमदाबाद जाकर मोदी के करीबी परिंदु भगत से मुलाकात कर चुके हैं। भगत भाजपा में चुनाव क्राइसिस मैनेजमेंट के विशेषज्ञ माने जाते हैं।
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Today is the birth anniversary of my friend, late Ram Vilas Paswan Ji. I miss his presence greatly. He was one of India’s most experienced Parliamentarians and administrators. His contributions to public service and empowering the downtrodden will always be remembered.