सार

भारत ने बांग्लादेश के लोगों को ई-मेडिकल वीजा की सुविधा देने का फैसला किया है। इससे इलाज के लिए भारत आने वाले बांग्लादेशियों को सुविधा होगी।

 

नई दिल्ली। बांग्लादेश की प्रधानमंत्री शेख हसानी भारत की यात्रा कर रहीं हैं। शनिवार को पीएम नरेंद्र मोदी के साथ उनकी बैठक हुई। इसके बाद पीएम मोदी ने संयुक्त प्रेस वार्ता में घोषणा की कि भारत बांग्लादेशियों के लिए ई-मेडिकल वीजा सुविधा शुरू करेगा। इससे इलाज के लिए भारत आने वाले बांग्लादेशियों को सुविधा मिलेगी।

क्या है ई-मेडिकल वीजा?

ई-मेडिकल वीजा एक तरह का वीजा है। यह ऐसे लोगों को दिया जाता है जो इलाज के लिए भारत आना चाहते हैं। भारत में बहुत अच्छी मेडिकल फैसिलिटी बेहद किफायती दर में मिलती है। इसके चलते पूरी दुनिया से लोग यहां इलाज कराने आते हैं। ऐसे लोगों की सुविधा के लिए भारत सरकार ई-मेडिकल वीजा देती है।

ई-वीजा की सुविधा तब नहीं दी जाती है जब व्यक्ति या उसके माता-पिता या दादा-दादी (पैतृक या मातृ) में से कोई एक पाकिस्तान में पैदा हुआ था या स्थायी रूप से वहां रहता था। ई-वीजा सुविधा राजनयिक/आधिकारिक पासपोर्ट धारकों, यूएनएलपी (यूएन पासपोर्ट) धारकों और अंतरराष्ट्रीय यात्रा दस्तावेज धारकों जैसे इंटरपोल अधिकारियों को नहीं दी जाती है।

कैसे कर सकते हैं ई-मेडिकल वीजा के लिए आवेदन?

ई-मेडिकल वीजा चाहिए तो इसके लिए विदेशी नागरिक को भारत सरकार की वेबसाइट https://indianvisaonline.gov.in/visa/tvoa.html पर ऑनलाइन आवेदन करना होगा। भारत आने की अपेक्षित तारीख से 120 दिन पहले तक आवेदन किया जा सकता है।

कितने दिन भारत में रुक सकते हैं?

ई-मेडिकल वीजा लेकर आने वाले लोग 60 दिन तक भारत में ठहर सकते हैं। बीमारी ठीक होने में देर हो रही हो तो इसे 6 महीने तक बढ़ाया जा सकता है।

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इन एयरपोर्ट से करना होगा भारत में प्रवेश

ई-मेडिकल वीजा रखने वाले लोग केवल चुनिंदा अंतरराष्ट्रीय हवाई अड्डों के माध्यम से भारत में प्रवेश कर सकते हैं। ये दिल्ली, मुंबई, चेन्नई, कोलकाता, त्रिवेंद्रम, बैंगलोर, हैदराबाद, कोचीन, गोवा, अहमदाबाद, अमृतसर, गया, जयपुर, लखनऊ, त्रिची, वाराणसी, कालीकट, मैंगलोर, पुणे, नागपुर, कोयंबटूर, बागडोगरा, गुवाहाटी, चंडीगढ़ और विशाखापत्तनम अंतरराष्ट्रीय हवाई अड्डा हैं। 5 प्रमुख भारतीय बंदरगाहों (मुंबई, कोचीन, मोरमुगाओ, चेन्नई और न्यू मैंगलोर) से भी ई-मेडिकल वाले लोग भारत आ सकते हैं।