सार

केजरीवाल सबसे पहले 30 दिसंबर को चंडीगढ़ पहुंचेंगे। वे यहां पार्टी के विजय जुलूस में शामिल होंगे। बता दें कि नगर निकाय के चुनाव में केजरीवाल की पार्टी AAP ने बंपर जीत हासिल की है। केजरीवाल चंडीगढ़ में कार्यकर्ताओं के साथ जीत का जश्न मनाएंगे। बता दें कि चंडीगढ़ नगर निगम चुनाव में आम आदमी पार्टी ने शानदार प्रदर्शन किया है और 35 में से 14 वार्ड में चुनाव जीता। जबकि भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) 12 वार्ड जीतकर दूसरे स्थान पर रही।
 

नई दिल्ली। आम आदमी पार्टी के राष्ट्रीय संयोजक और दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल नया साल 2022 पंजाब में मनाएंगे। वे यहां 30 दिसंबर से 1 जनवरी तक तीन दिवसीय दौरे पर रहेंगे। केजरीवाल का ये दौरा काफी महत्वपूर्ण माना जा रहा है। इस दौरे को केजरीवाल ने राजनीतिक तौर पर तैयार किया है। वे यहां विजय रैली, शांति मार्च और मंदिर-गुरुद्वारे में भी जाकर माथा टेंकेगे। माना जा रहा है कि केजरीवाल हर वर्ग के वोटर्स के मन में अपनी छवि को मजबूत बनाना चाहते हैं। इसलिए वे आम लोगों से भी मिलेंगे और संगठन को मजबूत करने के लिए भी तैयारी परखेंगे।

केजरीवाल सबसे पहले 30 दिसंबर को चंडीगढ़ पहुंचेंगे। वे यहां पार्टी के विजय जुलूस में शामिल होंगे। बता दें कि नगर निकाय के चुनाव में केजरीवाल की पार्टी AAP ने बंपर जीत हासिल की है। केजरीवाल चंडीगढ़ में कार्यकर्ताओं के साथ जीत का जश्न मनाएंगे। बता दें कि चंडीगढ़ नगर निगम चुनाव में आम आदमी पार्टी ने शानदार प्रदर्शन किया है और 35 में से 14 वार्ड में चुनाव जीता। जबकि भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) 12 वार्ड जीतकर दूसरे स्थान पर रही।

केजरीवाल दूसरे दिन पटियाल जाएंगे, तीसरे दिन अमृतसर
केजरीवाल अपने दौरे के दूसरे दिन 31 दिसंबर को पटियाला पहुंचेंगे और महात्मा गांधी की प्रतिमा पर माल्यार्पण कर अपने दौरे की शुरुआत करेंगे। केजरीवाल दोपहर 2 बजे श्री काली देवी मंदिर में पूजा-अर्चना करने जाएंगे। उसके बाद वे ‘शांति मार्च’ का नेतृत्व करेंगे, जिसमें पार्टी के वरिष्ठ नेता भगवंत मान भी शामिल होंगे। इसके बाद केजरीवाल गुरुद्वारा श्री दुखवरन साहिब में मत्था टेकेंगे। यात्रा के अंतिम दिन यानी 1 जनवरी को केजरीवाल दोपहर 12 बजे अमृतसर के राम तीरथ मंदिर जाएंगे और पूजा-अर्चना करेंगे। 

पंजाब में पूरी ताकत लगाकर चुनाव लड़ रहे केजरीवाल
दरअसल, पंजाब में विधानसभा चुनाव नजदीक हैं। ऐसे में सभी राजनीतिक दलों ने पंजाब में सक्रियता बढ़ा दी है। 2017 के विधानसभा चुनाव में आम आदमी पार्टी दूसरी सबसे पार्टी बनकर उभरी थी और नेता प्रतिपक्ष के रोल में हैं। हाल ही में चंडीगढ़ नगर निगम के चुनाव में आप ने पहली बार चुनाव लड़ा और बंपर जीत हासिल की। यहां तक कि भाजपा के मेयर को भी आप कैंडिडेट ने चुनाव हरा दिया। इस जीत के बाद आप को चुनावी बूस्टर डोज मिलना माना जा रहा है। आप अब पूरी ताकत के साथ विधानसभा चुनाव में उतरने की तैयारी में है। इसी को लेकर दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल लगातार पंजाब के दौरे कर रहे हैं। 

2017 में दूसरी बड़ी पार्टी बनकर उभरी थी आप
2017 के पंजाब विधानसभा चुनावों में कांग्रेस ने 117 सीटों में से 77 सीटें जीतकर राज्य में पूर्ण बहुमत हासिल किया था। जबकि आम आदमी पार्टी 20 सीटें जीतकर दूसरी सबसे बड़ी पार्टी बनकर उभरी थी। इन दोनों पार्टियों के दमदार प्रदर्शन ने 10 साल बाद शिअद-भाजपा सरकार को सत्ता से बेदखल किया था। इस बार भाजपा और शिअद अलग-अलग चुनावी मैदान में उतरने की तैयारी कर रहे हैं।  2017 में शिरोमणि अकाली दल (शिअद) ने 15 सीटें जीती थीं। जबकि बीजेपी ने 3 सीटों पर हासिल की थी। 

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