सार

अक्सर आपने देखा होगा कि कुछ लोगों का मूड बहुत तेजी से बदलता है। ऐसे लोग तुरंत तो काफी खुश दिखाई पड़ते हैं, लेकिन पल भर में ही चिड़चिड़े हो जाते हैं, गुस्सा करने लगते हैं और इसकी कोई खास वजह भी दिखाई नहीं पड़ती। दरअसल, यह मूड स्विंग की समस्या है। 
 

रिलेशनशिप डेस्क। अक्सर आपने देखा होगा कि कुछ लोगों का मूड बहुत तेजी से बदलता है। ऐसे लोग तुरंत तो काफी खुश दिखाई पड़ते हैं, लेकिन पल भर में ही चिड़चिड़े हो जाते हैं, गुस्सा करने लगते हैं और इसकी कोई खास वजह भी दिखाई नहीं पड़ती। दरअसल, यह मूड स्विंग की समस्या है। ऐसे लोगों के साथ रिलेशनशिप में रहना और उसे बनाए रखना आसान नहीं होता। इनके बारे में पता नहीं होता कि ये कब और किस बात से भड़क जाएंगे। ऐसे लोग तो कभी बहुत उत्साह में दिखते हैं, पर कभी इतने उदासीन हो जाते हैं कि लोगों से यहां तक कि पार्टनर से भी बातचीत करना बंद कर देते हैं। ये अपने आप को सबसे काट लेते हैं और कमरे में बंद हो जाते हैं। हो सकता है, मू़ड ठीक होने पर ये जल्दी ही नॉर्मल बिहेव करने लगें, लेकिन बार-बार मूड स्विंग की समस्या से पार्टनर को काफी परेशानी का सामना करना पड़ता है। दरअसल, मूड स्विंग होना एक पर्सनैलिटी डिसऑर्डर है और साइकोलॉजिस्टस् की मदद से इस पर काबू पाया जा सकता है। लेकिन हर स्थिति में डॉक्टर की मदद की जरूरत नहीं होती।

1. मूड स्विंग की वजह
पार्टनर अगर मूड स्विंग की समस्या से पीड़ित है तो इसकी वजह का पता लगा पाना आसान नहीं होता। ऐसा भावनात्मक उतार-चढ़ाव से हो सकता है। बचपन की कोई कटु स्मृति, बचपन में यौन शोषण का शिकार होना या किसी दूसरे तनाव की वजह से भी मूड स्विंग की समस्या पैदा हो सकती है। ऐसे में जहां तक संभव है, पार्टनर के साथ सहानुभूतिपूर्ण व्यवहार करें। उसकी जरूरतों को पूरा करें। अगर वह बातचीत नहीं करना चाहता तो उसे इसके लिए मजबूर नहीं करें।

2. डिप्रेशन भी है एक कारण
मूड स्विंग होने का एक कारण डिप्रेशन भी है। आप आसानी से पता लगा सकते हैं कि क्या आपका पार्टनर तनाव, एंग्जाइटी या डिप्रेशन की समस्या का शिकार तो नहीं है। पार्टनर को ही अंदरूनी समस्याओं और हालात की ज्यादा जानकारी होती है। अगर आपका पार्टनर तनाव, एंग्जाइटी या डिप्रेशन का शिकार है तो उसका मूड स्विंग होगा। ऐसे में पॉजिटिव एटिट्यूड अपनाना ही सही रास्ता है। अगर समस्या गंभीर है तो मनोचिकित्सक की सहायता लें।

3. इमोशनल चोट तो नहीं पहुंची
जो लोग ज्यादा संवेदनशील होते हैं, अगर किसी ने उनकी भावनाओं को ठेस पहुंचा दी तो इससे वे इतने दुखी हो जाते हैं कि उनका मूड बहुत खराब हो जाता है। वे चुप्पी साध लेते हैं, किसी के सवाल का कोई जवाब नहीं देते और अपना सामान्य कामकाज तक छोड़ देते हैं। ऐसे लोगों से नरमी से पेश आते हुए उनके मूड को ठीक करने की कोशिश करनी चाहिए।

4. बार-बार सवाल नहीं पूछें
अगर आपका पार्टनर मूड स्विंग की समस्या का शिकार है और समय-समय पर आपको इसके चलते परेशानी झेलनी पड़ती है तो आप पार्टनर से इस संबंध में सवाल नहीं पूछ कर खुद समझने की कोशिश करें कि किन स्थितियों में पार्टनर का मूड ज्यादा खराब होता है और वह फैमिली व दोस्तों से कट जाता है। इसके बाद इसी के हिसाब से मनोचिकित्सक से मिलें। पार्टनर मूड स्विंग की अपनी समस्या के बारे में खुद कुछ नहीं बता सकेगा।

5. पार्टनर को छोड़े नहीं
मूड स्विंग होने की स्थिति में अगर पार्टनर आपसे बात नहीं करता या अपने कामकाज नहीं निपटाता तो आप एक-दो बार उसे क्या परेशानी है, यह पूछ लें और उसके बाद पार्टनर पर करीब से नजर रखें। याद रखें, आपका पार्टनर इस समय एक भावनात्मक समस्या से जूझ रहा है। इसलिए उसके प्रति संवेदनशील बने रहें। उसे अकेला नहीं छोड़ें और ना ही कोई ऐसी बात कहें, जिससे उसका आत्मविश्वास कम हो।