महाभारत में कई ऐसे पात्र हैं, जिनके बारे में काफी कुछ लिखा और पढ़ा गया है। लेकिन कुछ पात्र ऐसे भी है, जिनके बारे में बहुत कम लोग जानते हैं। ऐसे ही दो पात्र हैं भीष्म के भाई चित्रांगद और विचित्रवीर्य।
25 मार्च, बुधवार को नव संवत्सर के साथ ही चैत्र नवरात्रि भी शुरू हो जाएगी, जिसका समापन 2 अप्रैल, गुरुवार को होगा। इस दौरान वसंत ऋतु होने के कारण इसे वासंती नवरात्र भी कहा जाता है।
इस बार 20 मार्च को एकादशी और शुक्रवार का योग बन रहा है। ये योग धन प्राप्ति के लिए किए जाने वाले ज्योतिषीय उपायों के लिए शुभ माना गया है।
चैत्र मास के कृष्ण पक्ष की एकादशी तिथि को पापमोचनी एकादशी कहते हैं। इस बार ये एकादशी 20 मार्च, शुक्रवार को है।
चैत्र मास के कृष्ण पक्ष की एकादशी को पापमोचनी एकादशी कहते हैं। यह एकादशी सभी पापों का नाश करने वाली है। इस बार यह एकादशी 20 मार्च, शुक्रवार को है।
महाभारत में ऐसे अनेक पात्र हैं, जिनके बारे में लोग कम ही जानते हैं। ऐसा ही एक पात्र है भीम का पुत्र घटोत्कच। अधिकांश लोग ये जानते हैं कि घटोत्कच भीम व राक्षसी हिडिंबा का पुत्र था और उसकी मृत्यु कर्ण के हाथों हुई थी।
वीडियो डेस्क। यदि घर में नेगेटिव एनर्जी रहती है, वहां धन और सुख-समृद्धि नहीं टिकते। मकड़ी का जाला भी वास्तु शास्त्र में नेगेटिविटी फैलाने का एक मुख्य कारण माना जाता है। जिस घर में सफाई नहीं होती और मकड़ी का जाला होते हैं, उस घर में कई तरह की परेशानियां बनी रहती हैं।
सोचिए अगर इंसान के पास बोलने की शक्ति नहीं होती तो ये संसार कितना सूना-सूना लगता। इसलिए वाणी का मानव जीवन में विशेष महत्व है।
जिसका जन्म हुआ है, उसकी मृत्यु होना भी निश्चित ही है। लेकिन इंसान ऐसा व्यवहार करता है, जैसे उसकी कभी मृत्यु ही नहीं होगी। वह लोभ और मोह में इस तरह उलझा रहता है कि कब उसकी मृत्यु का समय आ जाता है, उसे पता ही नहीं चलता।
इस बार मलमास 14 मार्च से शुरू हो चुका है, जो 14 अप्रैल तक रहेगा। धर्म ग्रंथों में इस समय का विशेष महत्व बताया गया है।