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Shani Jayanti 2023: शनि की साढ़ेसाती और ढय्या से हैं परेशान तो शनि जयंती पर करें ये उपाय, टल जाएगा बड़े से बड़ा संकट
Shani Jayanti 2023 Upay:इस बार शनि जयंती का पर्व 19 मई, शुक्रवार को मनाया जाएगा। जिन लोगों पर इस समय शनि की साढ़ेसाती और ढय्या का प्रभाव है, वे यदि इस दिन कुछ खास उपाय करें तो उनकी परेशानियां कम हो सकती हैं।
| Published : May 09 2023, 05:20 PM IST
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कब है शनि जयंती? (Shani Jayanti 2023)
हर साल ज्येष्ठ मास की अमावस्या पर शनि जयंती का पर्व मनाया जाता है। इस बार ये तिथि 19 मई, शुक्रवार को है। (Shani Jayanti 2023) मान्यता के अनुसार, इसी तिथि पर सूर्यपुत्र शनिदेव का जन्म हुआ था। इसलिए हर साल इस तिथि पर शनि जयंती का पर्व मनाया जाता है। जिन लोगों पर शनि की साढ़ेसाती और ढय्या का प्रभाव है, उन लोगों के लिए ये दिन बहुत खास होता है। (Shani Jayanti Ke Upay) इस दिन अगर वे कुछ खास उपाय करें तो उनकी परेशानियां कम हो सकती हैं। आगे जानिए किन राशियों पर है शनि की साढ़ेसाती और ढय्या का प्रभाव और शनि जयंती पर किए जाने वाले उपाय…
किन लोगों पर है शनि की ढय्या और साढ़ेसाती? (Shani Ki Sadesati Ke Upay)
उज्जैन के ज्योतिषाचार्य पं. प्रवीण द्विवेदी के अनुसार, वर्तमान में शनि कुंभ राशि में स्थित है, जो इनकी स्वयं की राशि है। इस समय शनि की साढ़ेसाती का प्रभाव मकर, कुंभ और मीन राशि पर बना हुआ है। वहीं कर्क और वृश्चिक राशि पर शनि की ढय्या का प्रभाव है। शनि की साढ़ेसाती और ढय्या का प्रभाव पूरे साल इन राशियों पर बना रहेगा।
शनिदेव की पूजा करें
शनि की साढ़ेसाती और ढय्या के अशुभ फल से बचने के लिए शनि जयंती पर कुछ आसान उपाय किए जा सकते हैं। इस दिन शनिदेव की विधि-विधान से पूजा करें। सरसों का तेल चढ़ाएं, नीले फूल अर्पित करें और उड़द दाल की खिचड़ी का भोग लगाएं।
इन चीजों का करें दान
शनि जयंती पर शनिदेव से संबंधित चीजों का दान करें जैसे जूते-चप्पल, काले वस्त्र, उड़द दाल की खिचड़ी, तेल आदि। इन चीजों का दान करने से शनिदेव प्रसन्न होते हैं और बड़े से बड़ा संकट भी टाल देते हैं। ये दान सिर्फ जरूरतमंद लोगों को ही करें।
कुष्ठ रोगियों को भोजन करवाएं
शनि जयंती पर कुष्ठ रोगियों को भोजन करवाने का विशेष महत्व है। संभव हो तो ये भोजन तेल से पका होना चाहिए जैसे पूरी, भजिए आदि। कुष्ठ रोगियों को भोजन करवाने से शनिदेव प्रसन्न होते हैं और आपकी हर इच्छा पूरी कर सकते हैं।
शनिदेव के मंत्रों का जाप करें
शनि जयंती पर शनिदेव से संबंधित मंत्रों का जाप करें। मंत्र जाप करते समय काली तुलसी की माला का उपयोग करें और कम से कम 11 माला जाप जरूर करें। एक माला में 108 बार मंत्र जाप किया जाता है। शनिदेव के मंत्रों का जाप करने से जीवन में खुशहाली बनी रहती है।
छाया दान करें
शनिदेव के अशुभ प्रभाव से बचने के लिए छाया दान एक अचूक उपाय है। इस उपाय के अंतर्गत सरसों के तेल में अपना मुंह देखकर डाकोत (शनि का दान लेने वाले) को ये तेल दान करें। इस उपाय से आपकी जितनी भी परेशनियां हैं, उनमें कमी आ सकती है और जीवन में खुशहाली बनी रहेगी।
Disclaimer : इस आर्टिकल में जो भी जानकारी दी गई है, वो ज्योतिषियों, पंचांग, धर्म ग्रंथों और मान्यताओं पर आधारित हैं। इन जानकारियों को आप तक पहुंचाने का हम सिर्फ एक माध्यम हैं। यूजर्स से निवेदन है कि वो इन जानकारियों को सिर्फ सूचना ही मानें। आर्टिकल पर भरोसा करके अगर आप कुछ उपाय या अन्य कोई कार्य करना चाहते हैं तो इसके लिए आप स्वतः जिम्मेदार होंगे। हम इसके लिए उत्तरदायी नहीं होंगे।