बिहार चुनाव 2025 से पहले JDU ने बड़ी अनुशासनात्मक कार्रवाई की है। पार्टी विरोधी गतिविधियों के आरोप में 48 घंटों के भीतर विधायक गोपाल मंडल समेत कुल 16 बागी नेताओं को निष्कासित कर दिया गया है। यह कदम अनुशासन बनाए रखने के लिए उठाया गया है।
पटनाः बिहार विधानसभा चुनाव 2025 से ठीक पहले जनता दल यूनाइटेड (JDU) ने पार्टी के भीतर अनुशासन बनाए रखने के लिए अब तक की सबसे बड़ी और कठोर कार्रवाई की है। 'पार्टी विरोधी गतिविधियों' में शामिल रहने के आरोप में, कल 11 नेताओं को निष्कासित करने के बाद, JDU ने आज दूसरी और निर्णायक सूची जारी कर दी है। इस सूची में दबंग विधायक नरेंद्र कुमार नीरज उर्फ गोपाल मंडल सहित पांच और प्रमुख नेताओं को पार्टी की प्राथमिक सदस्यता से बाहर का रास्ता दिखाया गया है। इस प्रकार, JDU ने पिछले 48 घंटों में कुल 16 बागी नेताओं पर गाज गिराई है।
गोपाल मंडल को 'आखिरी झटका'
इस दूसरे निष्कासन अभियान में सबसे बड़ा और हाई-प्रोफाइल नाम गोपाल मंडल का है। गोपालपुर सीट से मौजूदा विधायक रहे गोपाल मंडल को इस बार टिकट नहीं मिला था, जिसके बाद उन्होंने निर्दलीय उम्मीदवार के रूप में चुनाव लड़ने का फैसला किया। टिकट कटने से आहत मंडल ने सार्वजनिक मंचों से पार्टी के वरिष्ठ नेताओं पर गंभीर आरोप लगाए थे।
राजनीतिक गलियारों में यह चर्चा गर्म थी कि जब JDU ने बुधवार को 11 बागियों की पहली सूची जारी की, तो मंडल का नाम उसमें क्यों नहीं था। कई विश्लेषकों ने इसे मुख्यमंत्री नीतीश कुमार का उनके प्रति 'सॉफ्ट कॉर्नर' माना था, क्योंकि मंडल ने हमेशा नीतीश कुमार के कार्यों की तारीफ की थी और यहाँ तक कहा था कि वह चुनाव जीतने के बाद भी उनका ही समर्थन करेंगे। हालांकि, आज के निष्कासन ने यह स्पष्ट कर दिया कि चुनावी रण में अनुशासन से समझौता करने की कोई गुंजाइश नहीं है।
48 घंटे में 16 बागियों पर गाज: एक त्वरित और सामूहिक कार्रवाई
JDU आलाकमान का यह त्वरित एक्शन इस बात का संकेत है कि पार्टी विधानसभा चुनाव में किसी भी बागी नेता के कारण आधिकारिक उम्मीदवारों को नुकसान नहीं पहुँचाने देना चाहती। विद्रोहियों को तुरंत हटाकर पार्टी नेतृत्व ने जमीनी कार्यकर्ताओं और मतदाताओं के बीच स्पष्ट संदेश दिया है।
पहली सूची में पूर्व मंत्री शैलेश कुमार, पूर्व विधायक श्याम बहादुर सिंह और पूर्व विधान पार्षद संजय प्रसाद सहित 11 बड़े नेता शामिल थे। वहीं आज जारी की गई दूसरी सूची में विधायक गोपाल मंडल सहित 5 नेता शामिल हैं। इस दो-तरफा कार्रवाई ने JDU के भीतर मौजूद असंतोष को दबाने का काम किया है और पार्टी नेतृत्व ने विद्रोहियों के प्रति शून्य सहिष्णुता की नीति अपनाई है।
दूसरी सूची में शामिल 5 प्रमुख नाम
पार्टी द्वारा जारी दूसरी सूची में उन पांच नेताओं को तत्काल प्रभाव से निष्कासित किया गया है, जो आधिकारिक प्रत्याशियों के खिलाफ काम कर रहे थे या निर्दलीय चुनाव लड़ रहे थे:
- नरेंद्र कुमार नीरज उर्फ गोपाल मण्डल (मौजूदा विधायक) गोपालपुर सीट से निर्दलीय लड़ रहे हैं।
- महेश्वर प्रसाद यादव (पूर्व विधायक)
- संजीव श्याम सिंह (पूर्व विधान पार्षद/MLC)
- हिमराज सिंह (पूर्व मंत्री)
- प्रभात किरण (वरिष्ठ नेता)
पार्टी सूत्रों के अनुसार, इन सभी नेताओं पर पार्टी विरोधी गतिविधियों को अंजाम देने और बागी उम्मीदवारों को समर्थन देने के गंभीर आरोप लगे थे। JDU की इस सामूहिक कार्रवाई ने बिहार चुनाव के चुनावी घमासान को और तेज़ कर दिया है, क्योंकि अब इन 16 बागी नेताओं का अपने-अपने क्षेत्रों में आधिकारिक JDU प्रत्याशियों पर पड़ने वाला असर साफ नज़र आएगा।
