तारापुर विधानसभा 2025 में भाजपा के सम्राट चौधरी 122480 वोट लेकर जीते। उन्होंने राजद के अरुण कुमार को 45843 वोटों से हराया। 2010 से जदयू के गढ़ रही इस सीट पर राजद से हमेशा करीबी मुकाबला रहा है।
Tarapur Assembly Election 2025: तारापुर विधानसभा चुनाव 2025 में भारतीय जनता पार्टी के सम्राट चौधरी जीत गए हैं। उन्हें 122480 वोट मिले। उन्होंने राष्ट्रीय जनता दल के अरुण कुमार को 45843 वोटों से हराया। जिन्हें 76637 वोट मिले। तारापुर विधानसभा सीट बिहार की सियासत में खास पहचान रखती है। यह सीट मुंगेर जिले में आती है लेकिन जमुई लोकसभा क्षेत्र के अंतर्गत है। यहां पिछले कई दशकों से जदयू और राजद के बीच मुकाबला देखने को मिलता रहा है। 2010 से लगातार जदयू का दबदबा इस सीट पर कायम है। खास बात यह है कि जदयू के मेवालाल चौधरी और नीता चौधरी ने यहां पार्टी की पकड़ मजबूत बनाई। वहीं, राजद ने भी कई बार कांटे की टक्कर दी है।
2010: नीता चौधरी ने खोला जीत का खाता
2010 में जदयू की उम्मीदवार नीता चौधरी ने पहली बार पार्टी को जीत दिलाई। उन्होंने राजद के दिग्गज नेता शकुनि चौधरी को हराया। नीता चौधरी को 44,582 वोट मिले जबकि शकुनि चौधरी को 30,704 वोट मिले। जीत का अंतर करीब 13,878 वोटों का था। इस जीत ने जदयू को इस सीट पर पैर जमाने का मौका दिया।
2015: मेवालाल चौधरी की धमाकेदार एंट्री
2015 के चुनाव में जदयू ने मेवालाल चौधरी को उम्मीदवार बनाया। उन्होंने हम पार्टी के प्रत्याशी शकुनि चौधरी को मात दी। मेवालाल चौधरी को 66,411 वोट मिले जबकि शकुनि चौधरी को 54,464 वोट मिले। जीत का अंतर 11,947 वोटों का रहा। इसी चुनाव के बाद मेवालाल चौधरी ने इस सीट पर मजबूत पकड़ बना ली।
2020: दिव्या प्रकाश को मात
2020 के विधानसभा चुनाव में जदयू के मेवालाल चौधरी ने राजद की दिव्या प्रकाश को कड़ी टक्कर में हराया। मेवालाल को 64,468 वोट मिले जबकि दिव्या प्रकाश को 57,243 वोट पर संतोष करना पड़ा। जीत का अंतर 7,225 वोटों का रहा। इस बार लोजपा ने भी मुकाबले में हिस्सा लिया और 11 हजार से ज्यादा वोट हासिल किए, जिससे मुकाबला और दिलचस्प हो गया।
2021 उपचुनाव: राजीव कुमार सिंह की जीत
कोरोना काल में मेवालाल चौधरी के निधन के बाद 2021 में उपचुनाव हुआ। जदयू ने राजीव कुमार सिंह को मैदान में उतारा और उन्होंने जीत दर्ज की। राजीव को 79,090 वोट मिले जबकि राजद के अरुण कुमार साह को 75,238 वोट मिले। जीत का अंतर सिर्फ 3,852 वोटों का था। यह नतीजा बताता है कि इस सीट पर मुकाबला बेहद कड़ा है।
जातीय और राजनीतिक समीकरण
तारापुर विधानसभा में तीन लाख से अधिक वोटर हैं। राजद का भरोसा MY समीकरण (मुस्लिम-यादव) और वैश्य वोटरों पर रहता है, जबकि जदयू यहां लव-कुश (कुशवाहा और कोइरी) समीकरण पर निर्भर करती है। यही वजह है कि यहां हर चुनाव रोमांचक होता है और जीत-हार का अंतर कम रह जाता है।
