तेघड़ा चुनाव 2025 में भाजपा के रजनीश कुमार ने 112770 वोट पाकर भाकपा के राम रतन सिंह को 35364 वोटों से हराया। यह सीट अपने बदलते राजनीतिक समीकरणों के लिए जानी जाती है, जहाँ कोई भी दल स्थायी पकड़ नहीं बना सका है।
Teghra Assembly Election 2025: तेघड़ा विधानसभा चुनाव 2025 में भारतीय जनता पार्टी के रजनीश कुमार जीत गए हैं। उन्हें 112770 वोट मिले। उन्होंने भारतीय कम्युनिस्ट पार्टी के राम रतन सिंह को 35364 वोटों से हराया। जिन्हें 77406 वोट मिले। बेगूसराय जिले की तेघड़ा विधानसभा सीट (Teghra Vidhansabha Seat) बिहार की उन सीटों में से है, जहां हर चुनाव में सत्ता का समीकरण बदलता रहा है। यहां कभी राजद, कभी भाजपा, कभी भाकपा और कभी निर्दलीय उम्मीदवारों ने जीत दर्ज की है।
2010 का तेघड़ा विधानसभा चुनाव
2010 में इस सीट पर भाजपा के ललन कुमार ने जीत दर्ज की थी। उन्होंने 38,694 वोट हासिल किए जबकि सीपीआई के राम रतन सिंह को 32,848 वोट मिले। इस चुनाव में भाजपा ने बढ़त लेकर सभी को चौंका दिया था।
2015 का तेघड़ा विधानसभा चुनाव
2015 में यहां राजद (RJD) ने जीत दर्ज की। बीरेंद्र कुमार ने 68,975 वोट पाकर भाजपा के राम लखन सिंह (53,364 वोट) को हराया। जीत का अंतर रहा 15,611 वोटों का। इस बार राजद ने जातीय समीकरण और स्थानीय मुद्दों का फायदा उठाया।
2020 का तेघड़ा विधानसभा चुनाव
2020 में बड़ा उलटफेर हुआ। सीपीआई (CPI) के राम रतन सिंह ने धमाकेदार जीत हासिल की और जदयू (JDU) के वीरेंद्र कुमार को हरा दिया। राम रतन सिंह को 85,229 वोट मिले जबकि वीरेंद्र कुमार सिर्फ 37,250 वोट ही ला सके। जीत का अंतर था 47,979 वोट, जो इस सीट के इतिहास में सबसे बड़ा रहा।
नोट: CPI नेता रामरतन सिंह 12वीं पास हैं। उन पर दो क्रिमिनल केस हैं। उनकी कुल चल-अचल संपत्ति 4.35 करोड़ रुपए हैं लेकिन कोई देनदारी नहीं है।
सीट का इतिहास और खासियत
- 1962 में अंतिम चुनाव हुआ था और फिर 2008 में परिसीमन के बाद यह सीट वापस आई।
- अब तक कांग्रेस, भाकपा, भाजपा, राजद और निर्दलीय उम्मीदवारों सभी को एक-एक बार जीत का स्वाद मिल चुका है।
- यही वजह है कि तेघड़ा सीट पर कोई भी पार्टी स्थायी पकड़ नहीं बना पाई है।
जातीय समीकरण और वोटिंग प्रतिशत
तेघड़ा विधानसभा क्षेत्र में मुस्लिम और यादव वोटरों का दबदबा है। साथ ही भूमिहार और पासवान समुदाय भी निर्णायक भूमिका निभाते हैं।
- कुल मतदाता - 2.79 लाख
- पुरुष मतदाता- 1.50 लाख
- महिला मतदाता - 1.29 लाख
- ट्रांसजेंडर मतदाता - 14
वोटिंग प्रतिशत लगातार बढ़ रहा है:
- 1951 – 49.6%
- 2010 – 55.4%
- 2015 – 59.4%
अब देखना होगा कि 2025 में वोटिंग का नया रिकॉर्ड बनता है या नहीं।
