Voter List Update Bihar: बिहार के प्रवासी वोटरों के लिए चुनाव आयोग ने आसान ऑनलाइन प्रक्रिया शुरू की है। अब सिर्फ दो स्टेप में वोटर लिस्ट में नाम जुड़वाएं। दस्तावेज़ न होने पर भी ERO से संपर्क कर आवेदन पूरा किया जा सकता है।

Bihar voter registration: अगर आप बिहार के रहने वाले हैं लेकिन काम या पढ़ाई के सिलसिले में राज्य से बाहर रहते हैं, तो यह खबर आपके लिए बेहद अहम है। बिहार में चुनाव आयोग ने प्रवासी नागरिकों के लिए वोटर लिस्ट में नाम जोड़ने की प्रक्रिया को और सरल बना दिया है। इस विशेष अभियान की आखिरी तारीख में अब सिर्फ 10 दिन शेष हैं, ऐसे में आपके पास मौका है कि डिजिटल माध्यम से कुछ ही मिनटों में अपने वोटर अधिकार को सुरक्षित कर लें।

क्यों है यह सुविधा जरूरी?

बिहार से बाहर रह रहे लाखों लोग अक्सर वोटर लिस्ट में नाम न होने की वजह से मतदान नहीं कर पाते। ऐसे में राज्य के मुख्य निर्वाचन कार्यालय (CEO) ने इस बार एक सरल ऑनलाइन दो-स्टेप प्रक्रिया शुरू की है, जिससे देश के किसी भी हिस्से में रहकर बिहार के नागरिक अपना नाम वोटर लिस्ट में जुड़वा सकते हैं।

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कैसे काम करता है यह नया ऑनलाइन सिस्टम?

मुख्य निर्वाचन अधिकारी विनोद सिंह गुंजियाल के अनुसार, इस प्रक्रिया के जरिए प्रवासी मतदाता घर बैठे अपना नाम जोड़ सकते हैं। इसके लिए न तो लंबी लाइनें लगाने की जरूरत है, न ही किसी कार्यालय के चक्कर काटने की।

ऑनलाइन फॉर्म भरने का तरीका:

  1. सबसे पहले ECI की आधिकारिक वेबसाइट पर जाएं।
  2. ‘Enumeration Form Online’ पर क्लिक करें।
  3. अपना EPIC नंबर या मोबाइल नंबर दर्ज करके लॉगिन करें।
  4. लॉगिन करने के बाद एक फॉर्म खुलेगा, जिसमें नाम, जन्मतिथि व अन्य जरूरी जानकारियां भरें।
  5. एक सादे कागज पर हस्ताक्षर करें या अंगूठा लगाएं, उसकी फोटो खींचें और अपलोड करें।
  6. सबमिट करते ही एक कन्फर्मेशन SMS आपके मोबाइल पर आ जाएगा।

दस्तावेज़ अपलोड नहीं कर पाए? तो क्या करें?

अगर आप फॉर्म भरते वक्त कोई ज़रूरी दस्तावेज़ अपलोड नहीं कर पाते हैं, तो घबराएं नहीं। CEO कार्यालय ने बताया है कि आप 1 अगस्त से 30 अगस्त के बीच अपने क्षेत्रीय ERO (निर्वाचक रजिस्ट्रेशन अधिकारी) को दस्तावेज़ दिखा सकते हैं।

यदि आपके पास कोई पहचान पत्र या प्रमाण नहीं भी है, तो ERO आपके आवेदन को सरकारी योजनाओं में पंजीकरण या ज़मीन के दस्तावेजों के आधार पर भी स्वीकार कर सकते हैं।

कब तक है आखिरी मौका?

इस विशेष नाम जोड़ने के अभियान की अंतिम तिथि जुलाई माह का अंतिम सप्ताह है। आयोग का उद्देश्य है कि कोई भी योग्य मतदाता, चाहे वह बिहार में रह रहा हो या बाहर, अपने मताधिकार से वंचित न रहे।

क्या आगे और भी होगा डिजिटल?

इस पहल को सफल बनाने के लिए निर्वाचन आयोग ने अखबारों में विज्ञापन और ऑनलाइन कैंपेन की शुरुआत कर दी है। उम्मीद है कि आने वाले समय में चुनावी प्रक्रियाओं को और डिजिटल और सरल बनाया जाएगा।

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