सार
ओडिशा के जगन्नाथ पुरी मंदिर का रत्न भंडार 18 जुलाई गुरुवार को खुलने जा रहा है। इस भंडार में बेशकीमती रत्न और आभूषण सहित सोने चांदी सहित कई प्राचीन धरोहर हैं। जिन्हें अब अस्थायी कोषागार में शिफ्ट किया जाएगा।
पुरी. भगवान जगन्नाथ मंदिर के खजाने को करीब 46 साल बाद खोला जा रहा है। चूंकि खजाने की रखवाली नागराज करते हैं। इस कारण खजाना खोलने से पहले सपेरों की व्यवस्था की गई है। ताकि खजाना खोलने के दौरान सांपों को वश में किया जा सके। आईये जानते हैं। खजाना खोलने के दौरान क्या क्या खास रहेगा।
ये रहेगा खास
- मंदिर का रत्न भंडार 18 जुलाई सुबह 9 बजकर 51 मिनट से दोपहर सवा बारह बजे तक खोला जाएगा। इस दौरान ताले खोलकर रत्न भंडार में प्रवेश किया जाएगा।
- रत्न भंडार में मौजूद बेशकीमती सामान को अस्थायी भंडार गृह में शिफ्ट किया जाएगा।
- इस दौरान भारतीय पुरातत्व सर्वेक्षण की टीम द्वारा रत्न भंडार गृह की मजबूती का आंकलन किया जाएगा।
- रत्न भंडार से सभी पेटियां शिफ्ट नहीं की जाएगी। सिर्फ उनमें रखा कीमती सामान शिफ्ट किया जाएगा।
- खजाने खोलने से लेकर शिफ्टिंग तक पूरी वीडियोग्राफी की जाएगी।
- रत्न भंडार से बेशकीमती रत्न, आभूषण आदि को नई तिजोरियों और पेटियों में रखा जाएगा। इसकी व्यवस्था पहले से की जा चुकी है।
- रत्न भंडार की चाबियों से ताले नहीं खुले, इस कारण उनके ताले तोड़कर दूसरे ताले लगा दिए गए हैं। उनकी चाबिया राजकोष में जमा करवा दी गई है।
- 18 जुलाई को श्रद्धालुओं के मंदिर प्रवेश पर प्रतिबंध रहेगा। रत्न भंडार निगरानी समिति अध्यक्ष और मुख्य प्रशासक अरविंद पाढ़ी ने बताया कि गुरुवार को सुबह 8 बजे से ही भक्तों के लिए मंदिर में प्रवेश बंद रहेगा।
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46 साल बाद खुल रहा खजाना
आपको बतादें कि जगन्नाथ पुरी मंदिर का खजाना करीब 46 साल बाद खुल रहा है। इससे पहले जब खजाना खोला था, तब भगवान के लिए एक आभूषण निकाला था। अब खजाने के अंदर से कीमती आभूषण, रत्न आदि को अस्थायी भंडार में शिफ्ट किया जाएगा। चूंकि खजाने में रखी संदूकें काफी भारी हैं। इस कारण उन्हें वहीं रहने दिया जाएगा। इस दौरान भारी संख्या में पुलिस बल तैनात रहेगा। डॉक्टरों की टीम और सीसीटीवी कैमरों से सुरक्षा पर नजर रखने के साथ ही पूरे समय वीडियोग्राफी की जाएगी।
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