मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने कहा कि भगवान बिरसा मुंडा की 150वीं जयंती पर 15 नवंबर को जनजातीय गौरव दिवस भव्य रूप से मनाया जाए। 1 से 15 नवम्बर तक शैक्षणिक, सांस्कृतिक और विकासपरक गतिविधियों का आयोजन किया जाएगा।
भोपाल। मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने कहा कि धरती आबा भगवान बिरसा मुंडा की 150वीं जयंती वर्ष के समापन अवसर पर आगामी 15 नवम्बर को जनजातीय गौरव दिवस पूरे उत्साह और भव्यता से मनाया जाए। उन्होंने निर्देश दिए कि 1 नवम्बर से 15 नवम्बर तक ग्राम पंचायतों से लेकर राजधानी स्तर तक विभिन्न सांस्कृतिक, शैक्षणिक और जनभागीदारी वाली गतिविधियों का आयोजन किया जाए। मुख्यमंत्री सोमवार को समत्व भवन, मुख्यमंत्री निवास में जनजातीय गौरव दिवस की तैयारियों की समीक्षा बैठक को संबोधित कर रहे थे।
शिक्षण संस्थानों में हों बिरसा मुंडा के योगदान पर गतिविधियां
मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने कहा कि स्वतंत्रता संग्राम में भगवान बिरसा मुंडा के योगदान को याद करते हुए राज्यभर के शिक्षण संस्थानों में जागरूकता गतिविधियाँ आयोजित की जाएं। उन्होंने निर्देश दिए कि प्रदेश के विभिन्न अंचलों में सक्रिय रहे जनजातीय नायकों के जीवन और संघर्ष पर केंद्रित प्रदर्शनियां लगाई जाएं। साथ ही, स्वतंत्रता आंदोलन में जनजातीय समुदाय के योगदान को उजागर करने के लिए वाद-विवाद प्रतियोगिता, निबंध लेखन, भाषण, क्विज़ और अन्य सांस्कृतिक कार्यक्रम आयोजित किए जाएं।
स्व-सहायता समूह सम्मेलन और हस्तशिल्प प्रदर्शनी भी हों
मुख्यमंत्री ने कहा कि जनजातीय गौरव दिवस के तहत स्व-सहायता समूहों के सम्मेलन, हस्तशिल्प प्रदर्शनी और लोक कलाओं पर केंद्रित कार्यक्रम भी आयोजित किए जाएं। उन्होंने निर्देश दिए कि जनजाति बहुल क्षेत्रों में लगने वाले मेलों में स्वतंत्रता सेनानियों से जुड़ी विषय-वस्तु प्रदर्शित की जाए। मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने कहा कि 15 नवम्बर को भगवान बिरसा मुंडा जयंती के समापन अवसर पर होने वाले मुख्य कार्यक्रमों में शासकीय कल्याणकारी योजनाओं और विकास गतिविधियों की जानकारी जन-जन तक पहुंचाई जाए।
भगवान बिरसा मुंडा की जयंती से प्रेरणा लेकर समाज को जोड़ें
मुख्यमंत्री ने कहा कि भगवान बिरसा मुंडा का जीवन संघर्ष और बलिदान जनजातीय समाज ही नहीं, बल्कि पूरे देश के लिए प्रेरणादायक है। जनजातीय गौरव दिवस के अवसर पर ऐसे आयोजन किए जाएं जो एकता, विकास और समरसता का संदेश दें।
