सार
मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने देवी अहिल्याबाई के नाम पर स्किल प्रोग्राम और इंदौर की फर्स्ट बटालियन का नामकरण करने की घोषणा की। विजयादशमी पर शस्त्र पूजन कार्यक्रम का आयोजन भी किया गया।
भोपाल। मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने देवी अहिल्याबाई होलकर के नाम पर युवाओं को रोजगार से जोड़ने के लिए एक नया स्किल प्रोग्राम शुरू करने की घोषणा की है। इसके साथ ही, इंदौर के फर्स्ट बटालियन का नामकरण भी देवी अहिल्याबाई के नाम पर किया जाएगा। मुख्यमंत्री ने देवी अहिल्याबाई के योगदान की सराहना करते हुए कहा कि उन्होंने एक हाथ में शस्त्र और दूसरे हाथ में शास्त्र लेकर नारी सशक्तिकरण, सुशासन और धर्म के प्रसार का उदाहरण प्रस्तुत किया।
शस्त्र पूजन कार्यक्रम में मुख्यमंत्री ने किया हथियारों का पूजन
विजयादशमी के पावन अवसर पर आयोजित शस्त्र पूजन कार्यक्रम में मुख्यमंत्री ने परंपरागत हथियारों जैसे तलवार और भाले के साथ अत्याधुनिक एके-47 का भी पूजन किया। इस साल का शस्त्र पूजन कार्यक्रम देवी अहिल्याबाई के 300वें जन्म जयंती वर्ष को समर्पित किया गया है और यह पूरे प्रदेश में व्यापक जन-सहभागिता के साथ मनाया गया। मुख्यमंत्री ने बताया कि राज्य सरकार ने निर्णय लिया है कि हर त्यौहार और पर्व को अपार उत्साह और उल्लास के साथ मनाया जाएगा, जिससे लोगों में इनके महत्व के प्रति जागरूकता बढ़े।
CM मोहन यादव ने अयोध्या राम मंदिर को बताया सांस्कृतिक धरोहर
मुख्यमंत्री ने अपने संबोधन में अयोध्या में बन रहे राम मंदिर का भी उल्लेख करते हुए कहा कि यह मंदिर हमारी सांस्कृतिक धरोहर का प्रतीक है और इस साल इसका निर्माण पूरा होने से उत्साह और भी बढ़ गया है। उन्होंने देवी अहिल्याबाई के योगदान की सराहना करते हुए कहा कि उन्होंने देशभर में देव स्थलों का निर्माण कराया और नारी सशक्तिकरण का अनुपम उदाहरण प्रस्तुत किया।
देवी अहिल्याबाई के 300वें जन्म जयंती वर्ष पर हुआ कार्यक्रम
इस दौरान मुख्यमंत्री ने अश्व एवं वाहनों का पूजन भी किया और कार्यक्रम स्थल पर उन्हें गार्ड ऑफ ऑनर प्रदान किया गया। मुख्यमंत्री ने कहा कि प्रदेश में यह पहली बार हो रहा है जब विजयादशमी के अवसर पर पुलिस द्वारा आयोजित किए जाने वाले शस्त्र-पूजन कार्यक्रम को नई सोच, नये संकल्प के साथ पूरे प्रदेश के हर जिले में भव्य एवं व्यापक स्तर पर बड़ी जन-सहभागिता से उमंग और उल्लास से मनाया गया। यह कार्यक्रम इस वर्ष लोकमाता देवी अहिल्याबाई के 300वें जन्म जयंती वर्ष को समर्पित किया गया है।
मुख्यमंत्री ने बताई पर्व और त्यौहारों के आयोजन की महत्ता
मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने कहा कि राज्य सरकार द्वारा निर्णय लिया गया है कि प्रदेश में हर पर्व और त्यौहार अपार उत्साह और उल्लास के साथ व्यापक स्तर पर मनाएं जायेंगे। उन्होंने कहा कि पर्व और त्यौहारों के आयोजन के संबंध में आमजनों को इनका महत्व बताते हुए जागरूक करने की जरूरत है। मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने प्रदेश के नागरिकों को दशहरे की मंगलकामनाएं दी। उन्होंने कहा कि हम भाग्यशाली है कि हमने लम्बे संघर्षों के बाद अयोध्या में भव्य राम मंदिर का निर्माण और उसे पूरा होते हुए देखा है। इस वर्ष यह मंदिर बनने से हमारा आनंद कई गुना बढ़ गया है।
मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने इंडस्ट्रियल डेवलपमेंट में निवेश बढ़ने की दी जानकारी
मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने कहा कि देव स्थलों की सुरक्षा और उसके पुनर्निर्माण में अनेक विभूतियों ने अपना योगदान दिया है। इन्हीं में से एक देवी अहिल्याबाई भी है, जिन्होंने देश के लगभग हर क्षेत्र में देव स्थलों का निर्माण कराया है। देवी अहिल्याबाई ने सुशासन, सुराज, सेवा और नारी सशक्तिकरण का अनुपम उदाहरण प्रस्तुत किया है। उन्होंने हमारे सामने शस्त्र और शास्त्र का महत्व भी रखा है। देवी अहिल्याबाई का हम इस वर्ष 300वां जन्म जयंती वर्ष मना रहे हैं। यह हमारे लिये गौरव की बात है। उन्हीं से प्रेरणा लेकर हम प्रदेश का तेज गति से विकास कर रहे हैं। मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने औद्योगिक विकास और निवेश बढ़ाने के लिये प्रदेश में किये जा रहे प्रयासों की जानकारी भी दी।
वाहनों का भी मुख्यमंत्री ने किया पूजन
मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने कार्यक्रम स्थल पर अश्व एवं वाहनों का पूजन भी किया। उन्होंने अश्व की सवारी की और वज्र वाहन का पूजन भी किया। कार्यक्रम स्थल पर उन्हें गार्ड ऑफ ऑनर भी दिया गया। उन्होंने शस्त्रागार का अवलोकन भी किया। बालिका कु. चेतना प्रजापति ने अपने द्वारा पेंसिल स्केच से बनाया गया मुख्यमंत्री डॉ. यादव का चित्र उन्हें भेंट किया। कार्यक्रम के प्रारंभ में पुलिस महानिदेशक सुधीर सक्सेना ने स्वागत भाषण दिया। इंदौर के पुलिस कमिश्नर राकेश गुप्ता ने आभार व्यक्त किया। फर्स्ट बटालियन के बैंड ने धार्मिक गीतों/भजनों के सुमधुर वादन तथा स्वर लहरियों से पूरे कार्यक्रम स्थल को धर्ममय करते हुए उल्लास और उत्साह से सराबोर कर दिया।