Did You Know? मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री मोहन यादव ने विक्रमादित्य वैदिक घड़ी और ऐप लॉन्च किया है! अब अपने मोबाइल पर 7000 साल पुराने पंचांग, ​​मुहूर्त और ज्योतिष की जानकारी पाएँ, प्राचीन ज्ञान और आधुनिक तकनीक का मिश्रण।

MP CM Mohan Yadav launches India’s First 7000-Year Vedic Clock App: क्या आप कल्पना कर सकते हैं कि 7000 वर्षों का वैदिक पंचांग अब आपके स्मार्टफोन में? मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने भारतीय पारंपरिक समय गणना और आधुनिक तकनीक का अनोखा संगम किया है। विक्रमादित्य वैदिक घड़ी और ऐप न केवल समय बताती है, बल्कि पंचांग, मुहूर्त, नक्षत्र, ग्रह-नक्षत्र की स्थिति, सूर्य और चंद्र ग्रहण की जानकारी, चौघड़िया और धार्मिक व्रत जैसे सभी विवरण सटीक रूप से प्रदान करती है। यह पहल भारतीय विज्ञान और ज्योतिष की प्राचीन परंपरा को डिजिटल युग से जोड़ने की दिशा में मील का पत्थर है।

वैदिक घड़ी क्यों है विशेष?

विक्रमादित्य वैदिक घड़ी पारंपरिक भारतीय समय गणना पर आधारित है और यह सूर्य उदय से सूर्यास्त तक के समय को महत्व देती है। इस घड़ी और ऐप में 3179 विक्रम पूर्व (श्रीकृष्ण के जन्म) से लेकर 7000 वर्षों के पंचांग की जानकारी शामिल है। इसमें तिथि, नक्षत्र, योग, करण, वार, मास, व्रत, त्यौहार, और 30 अलग-अलग शुभ-अशुभ मुहूर्त शामिल हैं।

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क्या यह ऐप सिर्फ समय दिखाता है या उससे कहीं अधिक?

यह ऐप सिर्फ समय बताने तक सीमित नहीं है। इसके जरिए उपयोगकर्ता:

  • 189 से अधिक वैश्विक भाषाओं में धार्मिक कार्य और साधना की जानकारी प्राप्त कर सकते हैं।
  • सभी कार्यों के लिए अलार्म सेट कर सकते हैं।
  • GMT और IST समय के साथ वैदिक समय (30 घंटे) जान सकते हैं।
  • तापमान, हवा की गति, आर्द्रता और मौसम की सूचनाएं भी प्राप्त कर सकते हैं।
  • धार्मिक और सांस्कृतिक प्रतीक जैसे 12 ज्योतिर्लिंग, नवग्रह और प्रमुख धार्मिक स्थल देख सकते हैं।

तकनीक और परंपरा का अनोखा संगम

विक्रमादित्य वैदिक घड़ी इंटरनेट और GPS से जुड़ी है, और इसकी जानकारी मोबाइल, स्मार्ट टीवी और अन्य डिजिटल माध्यमों पर आसानी से देखी जा सकती है। उज्जैन में लगी दुनिया की पहली वैदिक घड़ी के बाद अब यह ऐप पूरे भारत में लोगों को भारतीय वैज्ञानिक और सांस्कृतिक विरासत से जोड़ने का काम करेगा।

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 क्या भविष्य में हर व्यक्ति मोबाइल पर देख सकेगा वैदिक पंचांग?

सीएम मोहन यादव की यह पहल न केवल तकनीक और संस्कृति का संगम है, बल्कि यह भारतीय समय गणना की प्राचीन प्रणाली को जन-जन तक पहुँचाने का भी एक प्रयास है। इस पहल से भारत की वैदिक विज्ञान और ज्योतिष परंपरा को डिजिटल प्लेटफॉर्म पर लाकर लोगों की सुविधा बढ़ाने का प्रयास किया गया है। उज्जैन की पहली वैदिक घड़ी और अब मुख्यमंत्री निवास में लॉन्च हुई विक्रमादित्य ऐप यह दर्शाती है कि भारतीय परंपरा और आधुनिक तकनीक का संगम संभव है।