सार
राजस्थान में अपनी सरकार को रिपीट के लिए लगे CM गहलोत अलग अलग जिलों में जनता के बीच पहुंच कार्यक्रम कर रहें है। इसी दौरान एक प्रोग्राम में कुछ ही सेंकड़ के लिए माइक बंद हो गया था। हालांकि तुरंत ही नया माइक दिया गया लेकिन तब तक 2 अफसरों पर गाज गिर गई।
अजमेर (ajmer news). राजस्थान में मुख्यमंत्री अशोक गहलोत का माइक सेट 2 सेकेंड के लिए बंद क्या हुआ दो अफसरों पर गाज गिर गई। सीएम गहलोत को वैसे तो ज्यादा सख्त नेता नहीं माना जाता लेकिन पिछले कुछ दिनों से वे जनता से जुड़े हुए कार्यक्रमों को लेकर बेहद गंभीर है। जनता से ही जुड़े हुए एक प्रोग्राम के दौरान उनका माइक 2 सेकेंड के लिए ही बंद हुआ था, लेकिन इन 2 सेकंड में ही 2 अफसरों पर गाज गिर गई। मामला अजमेर जिले का है।
राजस्थान में चल रहे राहत शिविर कैंपों का सीएम गहलोत कर रहे जांच
दरअसल राजस्थान में 24 अप्रैल से मुख्यमंत्री ने पूरे राजस्थान में महंगाई राहत शिविर लगाए हैं । 10 बड़ी योजनाओं का लाभ जनता को कैंप लगाकर दिया जा रहा है। मुख्यमंत्री खुद अलग-अलग कैंपों में जाकर जांच पड़ताल और जायजा ले रहे हैं। ऐसा ही एक कैंप अजमेर जिले में भी लगाया गया था, इस कैंप में मुख्यमंत्री सरकारी योजनाओं के बारे में महिलाओं से बात कर रहे थे कि अचानक उनका माइक बंद हो गया। वहां पर जिला कलेक्टर एसपी और तमाम प्रशासनिक अफसर मौजूद थे।
अजमेर में जनसभा के बीच ही कुछ ही सेकंड़ों के लिए बंद हुआ गहलोत का माइक
मुख्यमंत्री को इतना गुस्सा आया कि उन्होंने माइक वहीं पर फेंक दिया, तुरंत मुख्यमंत्री के लिए दूसरे माइक का बंदोबस्त किया गया। उसके बाद यह कार्यक्रम खत्म हुआ। इस घटना का वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल होने के कारण ज्यादा बवाल मचा। जिस समय माइक माइक फेंका गया, उस समय वहां पर जिला कलेक्टर मौजूद थे और उनको ही माइक उठाना पड़ा।
राजस्थान PWD में इलेक्ट्रिक विंग के दो अफसरों पर गिरी गाज
इस मामले की जांच पड़ताल के तुरंत आदेश निकाल दिए गए और अब दोषी अफसरों पर गाज गिर गई है। बताया जा रहा है कि पीडब्ल्यूडी मैं इलेक्ट्रिक विंग के एक्सईएन एसके मेघवंशी को 17 सीसी का नोटिस थमा दिया गया है। जबकि एस ई अशोक तंवर को कारण बताओ नोटिस दे दिया गया है, दोनों ही अफसरों से माइक बंद होने वाली गलती का जवाब मांगा गया है। जिस समय यह घटना क्रम हुआ और कार्यक्रम खत्म हुआ, बताया जा रहा है कि उसके बावजूद भी मुख्यमंत्री अशोक गहलोत गुस्से में थे। उन्होंने वहां मौजूद अफसरों को लताड़ा था कि तुम लोग एक काम भी ठीक से नहीं कर सकते हो कैसे अफसर हो।
उल्लेखनीय है कि 24 अप्रैल से लेकर अब तक राजस्थान के करीब 6 करोड़ लोगों ने मुख्यमंत्री के द्वारा लगाए गए महंगाई राहत शिविरों में रजिस्ट्रेशन करवा लिया है। राहत शिविर में 10 बड़ी योजनाओं का लाभ दिया जा रहा है। जिसमें सबसे बड़ी योजना मुफ्त बिजली की है , जून के महीने से राजस्थान के हर परिवार को करीब 100 यूनिट बिजली फ्री दी जा रही है।
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