सार
भजनलाल की राजस्थान सरकार ने पूरे देश में मुफ्त में दवा बांटने के क्षेत्र में पहला स्थान हासिल किया है। इसके लिए राज्य सरकार को पूरे देश से वाहवाही मिल रही है। बता दें कि इस मामले में तेलंगाना ने दूसरा स्थान पाया है।
राजस्थान। राजस्थान सरकार ने बड़ी सफलता हासिल की है। राज्यभर में फ्री दवाइयां बांटने के मामले में देश में पहले पायदान हासिल किया है। पूरे देश में तारीफ की जा रही है। निशुल्क दवा योजना में अनुमोदित दवाओं की संख्या, उपलब्ध दर संविदा, अलग-अलग चिकित्सा संस्थानों में मेडिसिन की उपलब्धता सहित अन्य मापदंडों को पूरा किया है।
राजस्थान मेडिकल सर्विसेज कॉरपोरेशन की प्रबंध निदेशक डॉक्टर नेहा गिरी बताती है-"निशुल्क दवा योजना के संचालक को लेकर केंद्रीय स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण मंत्रालय की ओर से यह रैंकिंग जारी की गई। जिसमें जून 2024 में राज्य 76.78 अंको के साथ सबसे आगे रहा है। वही तेलंगाना 75 अंकों के साथ दूसरे नंबर पर रहा।
डैशबोर्ड के जरिए जुटाई जाती है जानकारी
राज्य में संचालित निशुल्क दवा योजना में 1828 दवाइयां अनुमोदित है। राजस्थान मेडिकल सर्विसेज कॉरपोरेशन की प्रबंध निदेशक नेहा के अनुसार भारत सरकार द्वारा अप्रैल 2019 में ड्रग्स एवं वैक्सीन डिस्ट्रीब्यूशन सिस्टम डैशबोर्ड का निर्माण करवाया गया। इसके जरिए ही राज्यों में निशुल्क दवा योजनाओं की प्रगति की जानकारी जुटाई जाती है। चिकित्सा संस्थानों की संख्या, दवाओं का स्टॉक, ऑनलाइन आपूर्ति, क्वालिटी चेकिंग, दवाओं के अवधि पार होने का अनुपात, दवा को सप्लाई होने में लगने वाले समय सहित करीब 10 मापदंडों को पूरा करना पड़ता है।
राजस्थान में कब आई थी फ्री स्कीम योजना?
देश में सबसे पहले साल 2011 राजस्थान ने मरीजों के लिए निःशुल्क दवा योजना की शुरुआत की थी। तत्कालीन कांग्रेस के अशोक गहलोत की सरकार इस योजना को लेकर आई थी। इसके बाद देश के अन्य राज्यों ने नक्शेकदम पर चलते हुए स्कीम को अपनाया, जिसका फायदा वहां की जनता को मिला। सरकारी हॉस्पिटल में कई तरह की दवाएं मरीजों को उपलब्ध की जाती है। जैसे टीबी में इस्तेमाल की जाने वाली टेबलट। अन्य छोटी बड़ी बीमारी की दवाएं भी दी जाती है।
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