सार

उत्तर प्रदेश में 'कृषि सखी' योजना के तहत महिलाओं को आधुनिक कृषि तकनीकों का प्रशिक्षण देकर आत्मनिर्भर बनाया जा रहा है। 7,634 से अधिक महिलाओं को प्रशिक्षित कर उन्हें सरकारी योजनाओं से जोड़ा जा रहा है, जिससे वे खेती में नए आयाम स्थापित कर रही हैं।

लखनऊ, 28 सितंबर: उत्तर प्रदेश में मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के नेतृत्व में महिलाओं को सशक्त बनाने के लिए कृषि के क्षेत्र में एक अनूठी पहल की जा रही है। "कृषि सखी" योजना के तहत महिलाओं को कृषि से जोड़कर उन्हें आत्मनिर्भर बनाया जा रहा है। अब तक इस योजना के तहत 7,634 महिलाओं को प्रशिक्षित किया जा चुका है, जिससे वे आधुनिक कृषि तकनीकों को सीखकर अपनी आर्थिक स्थिति को सुदृढ़ कर रही हैं।

कृषि सखियों का चयन और प्रशिक्षण

कृषि सखियों का चयन उत्तर प्रदेश राज्य ग्रामीण आजीविका मिशन के अंतर्गत गांवों में गठित स्वयं सहायता समूहों से किया जा रहा है। दीनदयाल अंत्योदय योजना के तहत इन महिलाओं को पैरा प्रोफेशनल के रूप में प्रशिक्षित किया जा रहा है। अब तक 269 प्रशिक्षण कार्यक्रमों के माध्यम से प्रदेश भर में 7,634 महिलाओं का प्रशिक्षण और सत्यापन हो चुका है। बिजनौर जिले में सबसे अधिक 670 महिलाओं का प्रशिक्षण और सत्यापन पूरा हो चुका है।

विभिन्न विभागों से समन्वय

योगी सरकार ने चयनित कृषि सखियों को विभिन्न सरकारी विभागों के साथ समन्वित किया है, ताकि वे आर्थिक रूप से मजबूत हो सकें। कृषि विभाग, उद्यान विभाग, रेशम निदेशालय और भूगर्भ जल विभाग के कार्यक्रमों के विस्तार और प्रचार के लिए इन सखियों का चयन और प्रशिक्षण किया जा रहा है। महिलाओं के चयन के लिए कुछ विशिष्ट मानदंड तय किए गए हैं, जिनमें उनकी आयु 21 से 45 वर्ष के बीच होनी चाहिए और उन्हें कृषि कार्यों में रुचि और अनुभव होना चाहिए।

राष्ट्रीय कृषि विस्तार प्रबंधन संस्थान का योगदान

कृषि एवं किसान कल्याण मंत्रालय के अंतर्गत स्वायत्त संस्थान, राष्ट्रीय कृषि विस्तार प्रबंधन संस्थान (मैनेज), इन कृषि सखियों को प्रशिक्षण दे रहा है। मैनेज ने प्रदेशभर में 269 प्रशिक्षण कार्यक्रम आयोजित किए हैं, जिनके जरिए 7,634 कृषि सखियों को प्रशिक्षित किया गया है। इन सखियों को प्राकृतिक, जैविक और कृषि पारिस्थितिकी आधारित खेती के विभिन्न पहलुओं पर प्रशिक्षित किया जा रहा है।

लखपति महिला कार्यक्रम में अहम भूमिका

कृषि सखियां वर्तमान में "लखपति महिला कार्यक्रम" के तहत भी महत्वपूर्ण भूमिका निभा रही हैं। वे महिला किसानों के लिए कृषि और पशु पाठशालाओं का आयोजन कर रही हैं और ऋतु आधारित कृषि एवं पशु गतिविधियों के लिए योजना तैयार कर रही हैं। इसके अलावा, वे सतत कृषि तकनीकों के बारे में किसानों का मार्गदर्शन कर रही हैं और समय पर इनपुट की आपूर्ति सुनिश्चित करने के लिए आपूर्तिकर्ताओं के साथ जुड़ने में सहायता कर रही हैं।

पशुधन प्रबंधन में सहयोग

कृषि सखियां न केवल कृषि के क्षेत्र में बल्कि पशुधन प्रबंधन में भी महत्वपूर्ण योगदान दे रही हैं। वे किसानों को पशुधन प्रबंधन पर प्रशिक्षण दे रही हैं और उन्हें बुनियादी प्रबंधन पद्धतियों में सहायता कर रही हैं। साथ ही, "लखपति महिला कार्यक्रम" के तहत संभावित लखपति दीदी का चयन कर, उनकी आजीविका संवर्धन योजना का निर्माण और ग्राम समृद्धि एवं सक्षमता योजना के अंतर्गत आजीविका संवर्धन की मांगों का संकलन भी कर रही हैं।

महिलाओं के सशक्तिकरण की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम

उत्तर प्रदेश सरकार के इन प्रयासों के जरिए न केवल महिलाओं को सशक्त किया जा रहा है, बल्कि कृषि और पशुपालन के क्षेत्र में भी नए आयाम स्थापित हो रहे हैं। कृषि सखियां अब ग्रामीण क्षेत्रों में महिलाओं के लिए प्रेरणास्रोत बनकर उभर रही हैं, जो प्रदेश के विकास में अहम योगदान दे रही हैं।