सार

उत्तर प्रदेश के गाजियाबाद में बुधवार दोपहर एक जघन्य हत्याकांड का मामला सामने आया है। यहां तहसील परिसर में दोपहर एक वकील की दो अज्ञात हमलावरों ने उनके चैंबर में घुसकर गोली मारकर हत्या कर दी।

गाजियाबाद. उत्तर प्रदेश के गाजियाबाद में तहसील परिसर में बुधवार दोपहर एक वकील की दो अज्ञात हमलावरों ने उनके चैंबर में घुसकर गोली मारकर हत्या कर दी। मृतक की पहचान मनोज उर्फ मोनू चौधरी के रूप में हुई है। इस हत्याकांड को उस समय अंजाम दिया गया, जब वकील अपने चैंबर में खाना खा रहे थे।

उत्तर प्रदेश के गाजियाबाद में तहसील कैम्पस में वकील का मर्डर

यह घटना गाजियाबाद के सिहानीगेट इलाके की है। मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक, सूचना मिलते ही पुलिस मौके पर पहुंची और आरोपियों को पकड़ने के लिए नाकेबंदी कर दी गई। एडिशनल पुलिस कमिश्नर दिनेश कुमार पी, डीसीपी नगर निपुण अग्रवाल घटनास्थल पर पहुंचे। 

मोनू चौधरी इससे पहले तहसील बार एसोसिएशन का चुनाव भी लड़ चुके थे। यह घटना गैंगस्टर से नेता बने मुख्तार अंसारी के करीबी सहयोगी संजीव माहेश्वरी उर्फ 'जीवा' की लखनऊ सिविल कोर्ट परिसर में गोली मारकर हत्या किए जाने के कुछ महीने बाद सामने आई है। जब हमलावर ने जीवा को गोली मारी, तो वह वकील की वेशभूषा में था। बाद में उसे गिरफ्तार कर लिया गया। इन घटनाओं ने कोर्ट कैम्पस की सिक्योरिटी पर सवाल खड़े कर दिए हैं।

इससे पहले अगस्त के शुरुआती दिनों में सुल्तानपुर जिले में एसयूवी सवार बदमाशों ने एक वकील की गोली मारकर हत्या कर दी थी। हमले में उनका भाई गंभीर रूप से घायल हुआ था। यह घटना तब हुई थी, जब दोनों सुल्तानपुर-अध्योध्या हाइवे पर लोहारामरू रेलवे ओवरब्रिज पर एक रेस्तरां में बैठे थे।

उत्तर प्रदेश में लॉ एंड ऑर्डर: गाजियाबाद में वकील की हत्या से बवाल

पुलिस के मुताबिक, वकील मोनू चौधरी की हत्या सिहानी गेट थाना क्षेत्र की सदर तहसील के चैम्बर-95 में बैठकर खाना खा रहे थे। दोपहर करीब 2 बजे 35 वर्षीय मोनू चौधरी के साथ 3 अन्य लोग भी मौजूद थे। तभी दो अज्ञात लोग चैम्बर में घुसे और मोनू उर्फ मनोज चौधरी की कनपटी पर रिवाल्वर रखकर फायर कर दिए। उनकी मौके पर ही मौत हो गई।

घटना के बाद चैम्बर में भगदड़ मच गई। लोग चीखते-चिल्लाते हुए बाहर की तरफ भागे। घटना से वकीलों में रोष व्याप्त है। हंगामे की आशंका को देखते हुए तहसील परिसर में बड़ी संख्या में पुलिस फोर्स तैनात किया गया है। हत्या की वजह स्पष्ट नहीं हो पाई है।

हालांकि आशंका जताई जा रही है कि घटना के समय मृतक अपने साले नितिन डागर के साथ बैठा हुआ था। दोनों के बीच लंबे समय से विवाद चला आ रहा है। हत्या के बाद से नितिन डागर लापता है। हत्या को पीछे उसका हाथ होने की आशंका जताई जा रही है। पुलिस उसे खोज रही है।

यह भी पढ़ें

स्वामी प्रसाद मौर्य की जीभ काटने पर ₹10 लाख का इनाम, जानिए क्यों?

Raksha Bandhan पर भाई के कत्ल से टूटी बहन, कौन है UP का ये प्रधान, जिसके घर बुलडोजर चढ़ाने की उठी मांग?