सार

सुप्रीम कोर्ट के आदेश के बाद यूपी की योगी सरकार ने लाउडस्पीकरों और उच्च डेसिबल ध्वनियों पर सख्ती से रोक लगाए जाने के निर्देश दिए हैं। साथ ही बैंड बाजे, तेज आवाज वाला डीजे और संगीत पर रोक लगा दी गई है। 

लखनऊ: उत्तर प्रदेश की शादी में जब तक धूम धड़ाके के साथ बैंड बाजा बारात न निकले तो विवाह समारोह अधूरा माना जाता है। लेकिन अब शादियों में बैंड बाजे के साथ बारात नहीं निकल सकेगी। बता दें कि बैंड बाजे, तेज आवाज वाला डीजे संगीत पर रोक लगा दी गई है। सुप्रीम कोर्ट के एक आदेश के बाद योगी सरकार ने लाउडस्पीकरों और उच्च डेसिबल ध्वनियों पर सख्ती से प्रतिबंध लगाए जाने के निर्देश दिए हैं। बता दें कि हाई डेसीबल साउंड के साथ शादियों में होने वाले ध्वनि प्रदूषण पर रोक लगाने के लिए पुलिस शिकंजा कर रही है।

अनुमति के लिए लंबी प्रक्रिया से होगा गुजरना
वैवाहिक समारोह में हाई डेसीबल म्यूजिक या डीजे बजाने के लिए आपको लंबी भागदौड़ करनी होगी। बता दें कि शादियों या अन्य समारोह में हाई डेसिबल संगीत या डीजे बजाने के लिए मजिस्ट्रेट से अनुमति लेनी होगी। फिर उसके बाद फॉर्म लेकर स्थानीय पुलिस स्टेशन और वहां से ट्रैफिक पुलिस के पास जाना होगा। इसके बाद प्रपत्र को वापस फिर से मजिस्ट्रेट के पास लाना होगा। क्योंकि मजिस्ट्रेट ही अनुमोदन के लिए अंतिम मुहर लगाएंगे। तमाम नियमों और शर्तों के पूरे किए जाने के साथ औपचारिक मंजूरी लेनी होगी। बता दें कि लाउडस्पीकर पर भी पूरी तरह पाबंदी लगाई गई है। 

नियमों का उल्लंघन करने वालों पर होगी कार्रवाई
वहीं शादियों में हाई डेसीबल म्यूजिक के लिए लोगों को हफ्तों तक भटकना पड़ रहा है। ऐसे में तेज आवाज डांस करने वालों का सपना भी अधूरा रह गया। इसके अलावा पुलिस अफसरों से भी मिलने के लिए कड़ी मेहनत करनी पड़ेगी। वहीं इस मामले पर पुलिस अफसरों का कहना है कि हाई डेसीबल म्यूजिक के अलावा भी उनके पास कई जरूरी काम हैं। बता दें कि तेज आवाज के संगीत के लिए यूपी पुलिस ने नियम-कायदे तय कर रखे हैं। गेस्ट हाउस, फार्म हाउस, बैंक्वेट हॉल, पार्क औऱ कम्युनिटी हॉल में भी इस तरह के तेज आवाज वाले संगीत पर पाबंदी है। वहीं नियमों का पालन नहीं करने वालों के खिलाफ भारी जुर्माने से लेकर जेल तक का प्रावधान है।

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