सार
एटा में एक ठेले वाले की सुरक्षा में दो सशस्त्र गनर की तैनाती की गई है। यह दोनों ही गनर उसके ठेले के पास ही कुर्सी पर बैठकर उसकी सुरक्षा कर रहे हैं। इस नजारे को देखकर वहां से गुजरने वाले लोग भी हैरान है।
एटा: जनपद से एक चौंकाने वाला नजारा देखने को मिला। यहां सड़क किनारे एक ठेले के पास कुर्सी डालकर दो गनर बैठे हुए हैं। बताया गया कि यह गनर ठेले वाले की सुरक्षा में लगाए गए हैं। इस नजारे को देखकर हर किसी के मन में यही सवाल था कि आखिर इस ठेलेवाले की सुरक्षा में दो-दो गनर क्यों तैनात किए गए है। आपको बता दें कि हाईकोर्ट की ओर से ठेले वाले की सुरक्षा में दो सशस्त्र गनर मिले हुए हैं। दरअसल ठेले वाला रामेश्वर दयाल दो आरोपी रामेश्वर सिंह यादव और जुगेंद्र सिंह से पीड़ित हैं। आरोपियों ने जाति सूचक गालियां देने और बंधक बनाकर बैनामा करवाने का मुकदमा खारिज करने की याचिका डाली थी। इसकी सुनवाई के दौरान कोर्ट ने यह आदेश दिया है। मामले की अगली सुनवाई 25 जुलाई को होनी है।
विपक्षियों ने कोर्ट में की याचिका खारिज करने की मांग
ज्ञात हो कि सपा नेता रामेश्वर सिंह और जुगेंद्र सिंह ने हाईकोर्ट में एक याचिका दाखिल की। इस याचिका में कहा गया कि थाना जैथरा अंतर्गत बंधक बनाकर जमीन पर कब्जा करने और जाति सूचक गाली देने का झूठा मुकदमा दर्ज कराया है। इस मुकदमे को खारिज किया जाए। मामले में हाईकोर्ट ने पीड़ित रामेश्वर दयाल को नोटिस जारी कर बुलवाया। हाईकोर्ट में न्यायाधीश ने सुनवाई की। मामले में जुगेंद्र सिंह की सुनवाई कर रहे अधिवक्ता ने मुकदमे को झूठा बताकर उसे खारिज करने की मांग की। इस बीच न्यायधीश ने यह देखकर हैरानी जताई कि पीड़ित बिना किसी सुरक्षा के यहां तक कैसे आ गया। इसके बाद ही उन्होंने उसे सुरक्षा देने का आदेश पारित कर दिया। मामले में आदेश मिलते ही रविवार को एसएसपी उदयशंकर सिंह ने पीड़ित रामेश्वर दयाल की सुरक्षा में दो सशस्त्र कांस्टेबल लगा दिए। इस बीच पीड़ित रामेश्वर दयाल ने अपनी आर्थिक स्थिति ठीक न होने का हवाला देते हुए कहा कि वह सुरक्षा नहीं चाहते हैं। हालांकि इसके बावजूद उन्हें सुरक्षा दी गई।
ठेले पर कपड़े बेचते हैं रामेश्वर दयाल
पीड़ित रामेश्वर दयाल जैथरा में टेले पर रेडीमेड कपड़े बेचते हैं। रविवार की दोपहर जब उनके पास दो पुलिस के कांस्टेबल पहुंचे तो वह उन्हें खरीददार समझकर खड़े हो गए। हालांकि बाद में उन दोनों पुलिसकर्मियों की ओर से बताया गया कि वह उनकी सुरक्षा में लगे हुए हैं। इसके बाद उन्होंने कांस्टेबलों के लिए सुरक्षा की व्यवस्था की और खुद भी वहीं ठेले के पास बैठ गए।
अमरोहा: टक्कर के बाद कांवड़ियों की मौत, साथियों ने 7 बसों में की तोड़फोड़ और जमकर किया बवाल