सार
यूपी में योगी सरकार बनने के साथ ही रोज़गार देने का वादा भी किया गया था। जिसको पूरा करने के लिए सीएम योगी ने ब्लू प्रिंट तैयार कर लिया है। जिसके तहत लाखों की तादात में युवाओं को रोज़गार दिया जायेगा।
लखनऊ- उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने दोबारा सत्ता संभालने के साथ ही ‘हर हाथ को रोजगार’ इस मूल मंत्र पर काम करना शुरू कर दिया है। योगी का संकल्प है कि चाहे स्वरोजगार हो या नौकरी, कम से कम हर परिवार के पास आय के साधन होने चाहिए। सरकार के रणनीतिकारों का मानना है कि हर किसी को सरकारी या प्राइवेट नौकरी दे पाना संभव नहीं है, इसलिए स्वरोजगार की तरफ भी युवाओं में आकर्षण पैदा हो इसी सोच के साथ योगी सरकार ने विश्वकर्मा श्रम सम्मान योजना की शुरूआत की है।
विश्वकर्मा श्रम सम्मान योजना
इस योजना के तहत योगी सरकार गरीब तबके से जुड़े कुम्हार, नाई, मोची जैसे कामगार शामिल होंगे। सरकार इनकी काबिलियत को निखारने के लिए प्रौद्योगिकी के साथ जोड़कर और मशीने देकर बैंक से लोन दिलवाने में भी मदद करेगी। जिससे कि ये लोग अपना और अपने पूरे परिवार का जीवन यापन कर सकें। इसी सिलसिले में एमएसएमई विभाग के अपर मुख्य सचिव नवनीत सहगल ने बताया, ‘योगी सरकार का फोकस है कि युवाओं को ज्यादा से ज्यादा प्रशिक्षित किया जाए ताकि उन्हें रोजगार मिलने में दिक्कत ना आए। सरकार विश्वविद्यालय और कॉलेज स्तर पर एक उद्यमिता पाठयक्रम की शुरुआत करने जा रही है जिसमें इच्छुक विद्यार्थी एक घंटे की ऑनलाइन क्लास ले सकते है।
उद्यम सारथी ऐप
योगी सरकार ने इस एप के जरिये भी लोगों को जोड़ने का काम शूरु किया है। इस एप को एमएसएमई विभाग ने बनाया है। इस एप को अपने मोबाइल फोन में डाउनलोड करके सरकार की योजनाओं के बारे में पूरी जानकारी ले सकते हैं। इसी पर सहगल ने बताया कि ‘ जो बच्चे प्रशिक्षण क्लास लेंगे उनको संस्था से प्रमाण पत्र के अलावा बैंक लिंकेज से लेकर उद्यम स्थापित करने तक अन्य सारी मदद भी हमारे विभाग के अधिकारियों द्वारा की जाएगी। ओडीओपी योजना के जरिए हमारा लक्ष्य है कि अगले पांच सालों में निर्यात और रोजगार के अवसरों को दोगुना करें, विभाग उसी दिशा में काम कर रहा है’।
विश्वकर्मा योजना का फायदा
योगी सरकार द्वारा शूरु की गई इस योजना के बारे में कला बोर्ड के अधिकारियों ने भी गरीबों तक इस योजना को पहुंचाया है और लोगों को प्रशिक्षण भी दिया। इस योजना के तहत अधिकारी लोगों की मदद करते है और उनको बैंक से लोन भी दिलवाते है। जिसके बाद लोगों को रोज़गार में मदद मिलती है।
तीन करोड़ से ज़्यादा लोगों को रोज़गार
गौरतलब है कि सीएम योगी आदित्यनाथ की पिछली सरकार में इन्ही योजनाओं के जरिए करीब तीन करोड़ युवाओं को रोज़गार मिला स्वरोज़गार के जरिए उद्यमी बने। इतना ही नही अगर ओडीओपी योजना की बात करें तो 22 लाख से अधिक स्वरोज़गार के अवसर भी सरकार ने उपलब्ध करवायें है।