सार
घटना सहजनवां थाना की है। दरोगा राम प्रवेश सिंह एक कुर्सी पर फरियादियों के साथ बैठे थे। तभी थानेदार अंशुल चतुर्वेदी अपने कमरे से निकलने के बाद किसी काम से दरोगा को आवाज लगाने लगे। कई बार बुलाने पर दरोगा ने ध्यान दिया।
गोरखपुर: उत्तर प्रदेश पुलिस वैसे तो अपने कई कारनामों की वजह से चर्चा में बनी रहती है। लेकिन इस बार यूपी पुलिस के दो कर्मियों का हैरान कर देने वाला मामला सामने आया है। दरअसल गुरुवार को फारियादियों के सामने थानेदार और दरोगा आपस में भिड़ गए। इस दौरान दोनों में मारपीट हुई। विवाद बढ़ने पर थाने के दीवान ने बीच-बचाव कर दोनों लोगों को अलग कराया। घटना की जानकारी मिलते ही एसपी नार्थ और सीओ कैंपियरगंज मौके पर पहुंच गए। दोनों पुलिसकर्मियों के खिलाफ जांच शुरू कर दी गई है।
अवाज लगाने पर दरोगा ने नहीं सुनी बात
घटना सहजनवां थाना की है। दरोगा राम प्रवेश सिंह एक कुर्सी पर फरियादियों के साथ बैठे थे। तभी थानेदार अंशुल चतुर्वेदी अपने कमरे से निकलने के बाद किसी काम से दरोगा को आवाज लगाने लगे। कई बार बुलाने पर दरोगा ने ध्यान दिया।
दारोगा ने थानेदार को मारे थप्पड़
दारोगा की बात नहीं सुनने का आरोप लगाते हुए सवाल किया। दोनों में बातचीत का लहजा इतना बिगड़ गया कि तुम-तड़ाम होने लगा। इसी दौरान दरोगा ने थानेदार पर हाथ छोड़ दिया। दरोगा ने थानेदार की पिटाई कर दी। दरोगा ने थानेदार पर हाथ छोड़ दिया और दनादन चार पांच हाथ रसीद कर दिया। थाना परिसर में ही थानेदार की पिटाई देख फरियादी भी अवाक रह गए। मारपीट होते देख थाने का मुंशी भाग कर पहुंचा और दरोगा को दोनों हाथों से पकड़ कर दूर किया। थानेदार और दरोगा दूर होने के बाद भी एक दूसरे पर अपशब्दों की बौछार करने लगे। अन्य पुलिस कर्मियों के बार बार कहने के बाद दरोगा अपने आवास में गए और थानेदार अपने कक्ष में जाकर बैठ गए।
पुलिस के कारनामे की हो रही चर्चा
घटना पर एसपी नार्थ मनोज कुमार अवस्थी और सीओ कैंपियरगंज अजय कुमार सिंह मौके पर पहुंचे। एसपी नार्थ मनोज कुमार अवस्थी ने कहा कि जांच की गई है। दरोगा ने अनुशासनहीनता किया है। कार्रवाई के लिए रिपोर्ट एसएसपी को भेजी जा रही है। थानेदार और दरोगा में विवाद होने की खबर कस्बा से लेकर गांव तक आग की तरह पहुंच गई। हर तरफ लोग चटकारे लेकर चर्चा कर रहे है।
लखनऊ: अंबेडकर पार्क से चोरी हुई हाथी की मूर्ति, मायावती ने सरकार पर साधा निशाना