सार

यूपी पीसीएस 2021 की प्रारंभिक परीक्षा को इलाहाबाद हाईकोर्ट ने रद्द कर दिया है। हाईकोर्ट ने यह फैसला अदालत में दाखिल याचिका पर लिया है कि साल 1999 में कारगिल युद्ध के बाद सरकार ने पूर्व सैनिकों को दिए जाने वाले आरक्षण में बदलाव किया था, लेकिन इसमें ग्रुप ए और बी को हटा दिया गया।

प्रयागराज: उत्तर प्रदेश के जिले प्रयागराज में स्थित इलाहाबाद हाईकोर्ट ने यूपी पीसीएस 2021 भर्ती की प्रारंभिक परीक्षा का रिजल्ट रद्द कर दिया है। परिणाम को रद्द करने की वजह यह है कि पूर्व सैनिकों को पांच फीसदी आरक्षण नहीं दिए जाने पर होईकोर्ट ने फैसला लिया है। अदालत ने पूर्व सैनिकों को पांच प्रतिशत आरक्षण का लाभ देने का आदेश दिया है। इतना ही नहीं उसके बाद नए सिरे से परिणाम घोषित करने के लिए कहा गया है। उसके बाद एक महीने के अंदर मेंस परीक्षा के लिए प्रवेश पत्र जारी करने का भी निर्देश दिया गया है।

कोर्ट में इस मामले को लेकर दाखिल हुई याचिका
पीसीएस की परीक्षा को लेकर याची सतीश चंद्र शुक्ल व अन्य की याचिका पर सुनवाई करते हुए जस्टिस संगीता चंद्रा की एकल पीठ ने यह आदेश दिया है। होईकोर्ट में दाखिल याचिका में कहा गया है कि साल 1999 में कारगिल युद्ध के बाद राज्य सरकार ने पूर्व सैनिकों को दिए जाने वाले आरक्षण में बदलाव किया था। उसमें पूर्व सैनिकों को पांच फीसदी आरक्षण देने की व्यवस्था की गई थी, लेकिन ग्रुप ए और बी को हटा दिया गया। कोर्ट में दाखिल याचिका में आरोप लगाया है कि अधिसूचना प्रकाशित हो चुकी थी लेकिन उसके बावजूद पूर्व सैनिकों को आरक्षण का लाभ नहीं दिया गया। इसी मामले पर कोर्ट ने अपना निर्णय सुनाया है।

2021 में परीक्षा की तिथि को आयोग ने था बढ़ाया
वहीं दूसरी ओर इस मामले में सरकार की ओर से कोर्ट में जवाब दाखिल किया गया है कि सरकार इस मुद्दे पर विचार कर रही है। उसके बाद राज्य सराकार ने आरक्षण अधिनियम में एक और संशोधन किया। जिसमें ग्रुप बी सर्विस को भी आरक्षण के दायरे में ला दिया गया। इसकी अधिसूचना 10 मार्च 2021 को गजट में प्रकाशित कर दी गई। 5 फरवरी 2021 को पीसीएस का विज्ञापन जारी हुआ है और यूपी लोक सेवा आयोग ने पीसीएस 2021 परीक्षा के आवेदन की अंतिम तिथि 17 मार्च बढ़ा दी थी।

प्रारंभिक परीक्षा रद्द होने से इंटरव्यू होगा प्रभावित
हालांकि पीसीएस 2021 की मेंस की परीक्षा में सफल अभ्यर्थियों का 21 जुलाई से इंटरव्यू शुरू हो चुका है। जिसमें 623 पदों के लिए 1285 अभ्यर्थियों को इंटरव्यू के लिए बुलाया गया है। लेकिन अब कोर्ट के आदेश के बाद प्रांरभिक परीक्षा का परिणाम रद्द होने से इंटरव्यू भी प्रभावित होगा। इंटरव्यू में अब कुछ नए लोगों को भी बुलाना होगा। इस वजह से अंतिम परिणाम जारी होने में कुछ महीनों का वक्त लग सकता है। हाईकोर्ट के आदेश के बाद अब प्रारंभिक परीक्षा के नतीजे रद्द किए जाने से यूपी पीसीएस की कार्यप्रणाली पर एक बार फिर सवालिया निशाने खड़े हुए हैं।

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