सार

पाकिस्‍तान में सबसे अधिक सैलरी सुप्रीम कोर्ट के चीफ जस्टिस को मिलती है, जबकि प्रधानमंत्री का वेतन उनके मिनिस्‍टर्स से भी कम होता है।

इस्‍लामाबाद: पाकिस्तान में जारी राजनीतिक और आर्थिक संकट के बीच पाकिस्‍तान पब्लिक अकाउंट्स कमेटी (PAC) की रिपोर्ट सामने आई है। इस रिपोर्ट में कई खुलासे हुए हैं। इसके अनुसार पाकिस्तान में सुप्रीम कोर्ट के जजों की सैलरी देश के राष्ट्रपति, प्रधानमंत्री, कैबिनेट मंत्रियों, सचिवों और सांसदों के वेतन से कई गुना ज्यादा है। रिपोर्ट के मुताबकि पाकिस्‍तान के प्रधानमंत्री शहबाज शरीफ की तुलना में देश के चीफ जस्टिस की सैलरी सात गुना ज्यादाा है।

पाकिस्‍तान के पीएम को मात्र 2,01,574 पाकिस्तानी रुपए मासिक सैलरी मिलती है। वहीं, राष्‍ट्रपति का वेतन 8,96,550 रुपए है। अगर बात करें चीफ जस्टिस को, तो उन्हों 15,27,399 रुपए महीने मिलते हैं। पीएसी के अध्यक्ष नूर खान ने बताया कि सुप्रीम कोर्ट में जजों को14,70,711 रुपये मिलते हैं।

फेडरल मिनिस्टर से भी कम है प्रधानमंत्री की सैलरी

रिपोर्ट में बताया गया है कि पाकिस्तान के फेडरल मिनिस्टर को 3,38,125 रुपए वेतन मिलता है। यह वेतन प्रधानमंत्री को मिलने वाले वेतन से ज्‍यादा है। पाकिस्तान के नेशनल असेंबली सदस्य को हर महीने 1,88,000 रुपए सैलरी मिलती है। इसके अलावा पाकिस्तान में ग्रेड-22 अधिकारी का वेतन 5,91,475 रुपए महीना है।

PAC ने जजों और चीफ जस्टिस के भत्ते की मांगी डिटेल

द न्यूज इंटरनेशनल ने बताया कि PAC ने हाल ही में पाकिस्तान के राष्ट्रपति, प्रधानमंत्री, चीफ जस्टिस और सुप्रीम कोर्ट के अन्य जजों को मिलने वाले भत्तों और विशेषाधिकारों की जानकारी मांगी थी। हालांकि, PAC को ऑडिट रिपोर्ट नहीं मिली है। इसके चलते पब्लिक अकाउंट्स कमेटी ने सुप्रीम कोर्ट के रजिस्‍ट्रार को चेतावनी दी है।

10 साल के खर्चे की मांगी रिपोर्ट

कमेटी ने उनसे बीते 10 साल से अधिक के खर्च के ऑडिट की जानकारी पेश करने को कहा है। बता दें कि इस समय पाकिस्तान के राष्ट्रपति का पद आरिफ अल्वी के पास है, जबकि शहबाज शरीफ देश के प्रधानमंत्री है। वहीं, चीफ जस्टिस की जिम्मेदारी उमर अता बंदियाल के पास है।

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