सार

रूस और यूक्रेन के बीच जारी जंग (Russia Ukraine War) का आज 12वां दिन है। बेलारूस में दोनों देशों के प्रतिनिधि तीसरे राउंड की वार्ता कर रहे हैं।

कीव। रूस और यूक्रेन के बीच जारी जंग (Russia Ukraine War) का आज 12वां दिन है। इन 12 दिनों में यूक्रेन के कई शहर पूरी तरह बर्बाद हो गए हैं। इस बीच दोनों देशों के बीच बातचीत भी जारी है। आज दोनों देशों के प्रतिनिधि तीसरे राउंड की वार्ता कर रहे हैं। बेलारूस के ब्रेस्ट में रूस-यूक्रेन प्रतिनिधिमंडल की बैठक हो रही है। 

मारे गए 11,000 रूसी सैनिक
यूक्रेन के विदेश मंत्रालय ने यूक्रेन पर आक्रमण के बाद से रूस को हुए नुकसान का ब्योरा साझा किया है। इसमें बताया गया है कि सोमवार तक कुल 11,000 रूसी सैनिक मारे गए। युद्ध के दौरान विभिन्न प्रकार के 999 बख्तरबंद वाहन, 46 विमान, 68 हेलीकॉप्टर, 290 टैंक, 117 तोप और 50 एमएलआर नष्ट किए गए। इसके अलावा, नष्ट की गई सुविधाओं में 60 टैंक, 454 वाहन, 3 जहाज, 7 यूएवी और 23 एंटी एयर क्राफ्ट सिस्टम शामिल हैं। 

रूसी इंधन पर निर्भरता खत्म करेगा यूरोपीय संघ
वहीं, यूरोपीय संघ रूसी जीवाश्म ईंधन पर से अपनी निर्भरता खत्म करने की दिशा में पहल कर रहा है। मंगलवार को यूरोपीय संघ आयोग रूसी जीवाश्म ईंधन पर निर्भरता को जल्दी से कैसे दूर किया जाए, इस पर प्रस्ताव पेश करेगा। यूरोपीय संघ आपूर्तिकर्ताओं में विविधता लाने, एलएनजी और पाइपलाइन गैस पर स्विच करने, नवीकरणीय ऊर्जा में निवेश करके यूरोपीय संघ को सशक्त बनाने और ऊर्जा दक्षता में सुधार लाने की दिशा में काम करेगा। 

यह भी पढ़ें- जेलेंस्की के बाद मोदी ने की पुतिन से बातचीत, भारतीयों की यूक्रेन से सुरक्षित निकासी का रूस ने किया प्रॉमिस

यूक्रेन संकट में मध्यस्थता को तैयार चीन
चीन के विदेश मंत्री वांग यी ने रूस और यूक्रेन के बीच जारी संकट में मध्यस्थता करने की चीन की इच्छा व्यक्त की है। उन्होंने कहा कि चीन रूस और यूक्रेन के बीच बातचीत को सुगम बनाने के लिए काम कर सकता है। विदेश मंत्री ने बीजिंग में ग्रेट हॉल ऑफ द पीपल में चीन की विदेश नीति और अंतरर्राष्ट्रीय संबंधों पर एक प्रेस वार्ता को संबोधित करते हुए यह टिप्पणी की। वांग यी ने कहा, "चीन शांति के लिए बातचीत को आसान बनाने और अंतरराष्ट्रीय समुदाय के साथ काम करने के लिए रचनात्मक भूमिका निभाने के लिए तैयार है।" 

यह भी पढ़ें- एशियानेट एक्सक्लूसिवः 'हम जाने को तैयार थे, लेकिन यूक्रेन की यूनिवर्सिटी ने हमें नहीं जाने दिया...'